चाहते दिल में रखो दिमाग में नहीं
दिल की हर चाहत पूरी करो
दिमाग से सही।-
जिसके वजह से हम किसी और से मिलना नहीं चाहते
अब वो मगर हमसे मिलना नहीं चाहते
एक उम्र लगा दी जिसके लिए घर बनाने में
अब वो मगर घर में मिलना नहीं चाहते
बाद मुझसे मिलने के वो कईयों से मिले
मगर अब वो किसी और से मिलना नहीं चाहते
वफा पे मेरी वो अब भी फक्र करती है
हुई गलती की अफसोस है उसे अब वो हमसे मिलना नहीं चाहते
फकत मैं ही नहीं कई तैयार हैं उससे मिलने को
मगर अब वह किसी से भी मिलना नहीं चाहते-
चाहते ज़बान से नहीं
रूह से होती है
वो चाहत ही क्या
जो ज़बान से शुरू हो
और उसी पर खत्म।-
हवाओ की सरसराहट,
पेड़ो पर फुदकते,
चिड़ियों की चहचहाहट,
नदी की लहरों का शोर,
बारिश में नाचते सुंदर मोर,
कुछ कहना चाहते हैं।
खूबसूरत चांदनी रात,
तारों की झिलमिलाती बरसात,
खिले हुए सुन्दर रंगबिरंगे फूल,
उड़ते हुए धुल के कण,
कुछ कहना चाहते हैं।
नदियों की कलकल,
मौसम की हलचल,
पर्वत की चोटियाँ,
झींगुर की सीटियाँ,
कुछ कहना चाहते हैं।-
खिज़ां में गुल खिलाना चाहते हैं
गमों में मुस्कुराना चाहते हैं
हमें यूँ छोड़ कर जो जा चुके हैं
उन्हें वापस बुलाना चाहते हैं
बहुत तुमने सताया बस करो अब
तुम्हें अब हम सताना चाहते हैं
तुम्हें परवाह इतनी सी नहीं है
हमीं दिन-रात पाना चाहते हैं
चले आओ कि बेदम हो चले हैं
झलक बस तेरी पाना चाहते हैं
बचा लो "दीप" आ कर तुम हवा से
कि हम भी जगमगाना चाहते हैं
-
चाहतें तो बहुत है, मगर... चाहिए कुछ भी नहीं
- Saba Gulnar
हुआ करती थी चाहतें, हमारी भी कभी
कैद है आज वो खमोशियों के दर्मियां।
- Silent Eyes
कभी मर नहीं सकती चाहतों की हस्तियां
चाहे कितने ही आड़े आ जाए जिम्मेदारियां।
- Mrsq
चाहतें क्या है ? वो तो फकत होगी ही
मसला तो उसके मयस्सर-ए-वसल का है।
- Shubham-
करते थे
हम भी कई दफा उनकी बातों को नादानी में,
और जबसे इश्क हुआ हम सिर्फ उन्हें ही सुनना चाहते है ।।-
हम उतना ही चाहते हैं,
जितना कि पहले चाहते थे...
अब भी तुमको,
हम बेइंतेहा मोहब्बत करते हैं...
जितना कि पहले करते थे,
गम है तो सिर्फ इस बात का कि...
हम तुमसे अपने प्यार का इज़हार नहीं कर पाते हैं !!!-
रात-रातभर कभी घुमें थे, इन सडकों पर एकसाथ
उनपे अकेले चलने को, पैर अब मना कर देते हैं।
बिताये थे मुस्कुरा कर, जो पल साथ में हमने
बस वैसे ही अब भी, जीने को दिल चाहता है।-