QUOTES ON #2024ELECTION

#2024election quotes

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24 APR 2024 AT 19:04

वादों का दौर चल रहा है, ज़रा संभलकर बात करना
तारीफ उसकी भी हो रही है..
जिससे ज़िंदगी में तुम्हारा कभी पाला न पड़ा !

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20 NOV 2021 AT 11:03

क्रांति एक दिन मे नही होती..

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1 JUN 2024 AT 14:25

आज मैनें अपनी जिंदगी की तीसरी वोट डाली,
जवान सर ने बोला के phone निकाल के यहाँ बाहर रख दो।
मैनें phone वहाँ पड़ी एक कुर्सी पर रख दिया।
मैं अंदर कमरे में घुसा लेकिन मुझे phone की चिंता हो रही थी।
मैं बार-बार दरवाजे की चौगाठ से झाँककर phone की तरफ देख रहा था।
फिर मैनें रसीद एक भाई को पकड़ाई उन्होनें मेरा वोटिंग नंबर ढूंढा और बताया।
फिर मैं दूसरे काऊंटर पर गया जहाँ एक बुजुर्ग अंकल और एक मैडम बैठे हुए थे।
फिर उन्होनें मेरे वोटर आई डी कार्ड की शनाख़्त की और मैडम ने मेरे हस्ताक्षर एक रजिस्टर पर करवाए, और फिर मेरी बाएं हाथ की पहली उंगली पर श्याही लगाई, फिर उन्होनें मुझे एक रसीद दी।
फिर मैनें वो रसीद वोटिंग बूथ वाले मंशीन के पास बैठी मैडम को दी।
फिर मैनें सभी बंधनों से आजाद, मुक्त होकर वोटिंग मशीन का बटन दबाया और 5,10 सैकंड का इंतजार किया फिर मेरे दबाए हुए बटन के वोटिंग कैंडिडेट का निशान वहाँ पड़ी एक डब्बानुमा मशीन की screen पर show हुआ।
फिर मैनें तेजी से बढ़ते हुए कमरे से बाहर आकर लपकते हुए अपना phone पकड़ा और उन जवान सर को धन्यवाद करते हुए मैं गेट से बाहर निकल आया।

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5 MAY 2024 AT 14:38

आपस में नफ़रत करते हुए वे लोग
जो इस बात पर सहमत हैं कि
'चुनाव' ही सही इलाज है
क्योंकि बुरे और बुरे के बीच से किसी हद तक
'कम से कम बुरे को' चुनते हुए
न उन्हें मलाल है, न भय है और न लाज है





Election 2024

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5 JUN 2024 AT 9:05

केवल मज़हब के भरोसे सत्ता पाना सहज होता तो अयोध्या में ऐसी दुर्गति न होती और 400 पार आज यथार्थ होता.उत्तरप्रदेश की जनता ने अतिआत्मविश्वासी सरकार को सही मायने में एकबार आइना दिखाया यही वजह है कि कभी 6लाख से भी ज्यादा मतों से जितने वाले प्रधानमंत्री जी 2लाख के अंतर को भी छू न सके वहीं राहुल गांधी बगल के सीट से 3 लाख से भी ज्यादा अंतर से जीते और अगर अन्य बीमारू प्रदेश जैसे कि बिहार, मध्यप्रदेश और राजस्थान में यही हाल रहता तो शायद उनका तख्त भी पलट जाता.इस बार सत्तारूढ़ पार्टी को समझ आया की जनता को मज़हब नहीं नौकरी चाहिए,महंगाई पर नियंत्रण चाहिए, कॉरपोरेट मित्रों के हाथों सरकारी सम्पत्तियों को बेचने से मुक्ति चाहिए जिससे वो आत्मनिर्भर बन सकें.2024 का चुनाव ने एकबार फिर से मृतप्राय हो चुके क्षेत्रीय पार्टियों के आत्मा में जान फूँकी!अखिलेश की सपा ने आजतक के अपने सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन किया,बिहार में चिराग और नीतीशकुमार ने फिरसे अपना परचम लहराया तो दक्षिण में चंद्रबाबू नायडू ने दिखाया कि क्यूँ उन्हें राजनीति में भीष्मपितामह कहते हैं तो बंगाल में दीदी ने एकबार फिर सेंधमारी रोकी.खत्म होती नजर आ रही राष्ट्रीय पार्टी कांग्रेस भी पुनर्जीवित हो गयी और एक मजबूत विपक्ष का आगाज़ हुआ जोकि भारत जैसे लोकतांत्रिक देश के लिये परिहार्य है.कुलमिलाकर 2024 का चुनाव विगत दो दशकों में सर्वश्रेष्ठ चुनाव परिणाम दिया.

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सबका पसंदीदा subject चाहे कुछ भी हो
रुचि सबकी politics मे ही रहती है चाहे
घर की हो या देश की .."..

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30 SEP 2022 AT 9:04

पहले हूर को भूखा मारा
दाने पानी को तरसाया
छप्पन भोग बनवाने का
बाद हुजूर को एडिया आया
👹👹👹👹 हुंह 👊

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29 JUL 2021 AT 20:42

Mamta didi kaheti ha desh ho ga kehla congress ke sat Sama hi Batia ga khela hova ya Modi lehaar.

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2 MAY 2024 AT 16:35

जब इलेक्शन आते हैं, नेता वादा करते हैं
मोदी वादा कम करते हैं, काम ज्यादा करते हैं

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20 JAN 2024 AT 21:33

Manipulating the cryptic culture threshold and lifting the political agenda by means of showing sympathetic leisure and on behalf of this normalizing communalism to exaggerate the virtual patriotism .....huh... it's my India... let's taste the opportunistic based democracy man...☺️

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