ज़िन्दगी के सभी दुखो को सहकर
जब तुम्हारी बाहों का आशियाना मिला.......
तब ज़िन्दगी के हर दुख से ऐसे अनजान हो गई
मानो तुमसे मिली खुशियों ने मेरी किस्मत ही पलट दी हो
पर दिनों दिन तुम्हारे बदलते व्यवहार
ने हमें तोड़ के रख दिया.....
आंसुओ को छुपाना कब सीख लिया पता ही न लगा
तुम्हे अंदाज़ा भी न हुआ कि कब मेरी
मुस्कुराहट की जगह आंसुओ ने ले ली
जब तुम्हे एहसास हुआ तब तक देर हो चुकी थी
हम तुम्हारी ज़िन्दगी से कब चले गए
तुम्हे पता भी न लगा.....
फूट फूट कर रोना चाहती थी पर रो ना सकी
क्योँकि उस दिन हमने आंसू छुपा लिए.......
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जैसे छुपा कोई राज गहरा है
अगर कभी लोगो की सूरत पे जाओगे
तो ज़िन्दगी में धोखा जरूर खाओगे
क्योकि यहाँ चेहरे के पीछे चेहरा है
ये संसार वो नही जो दिखता है ।।।
ना जाने कितने लोग झूठ का
नकाब ओढ़े रखते है।।।
कई लोगो का अपने मतलब के लिए
ईमान तक बिकता है क्योकि
चेहरे के पीछे चेहरा है ।।।-
सोचो उस वक़्त कौन तुम्हें सताएगा,
जब छिप जाएंगे वहां हम जहां ढूंढ़ कोई न पाएगा।-
स्वयं की पहचान
छुपाना बहुत आसान है
परन्तु
स्वयं की पहचान
बनाना बहुत कठिन है।
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चेहरे को यूं हाथों से छुपाया ना करो मेरी दोस्त....
चेहरा दिल की हकीकत बयां करता हैं मेरी दोस्त....-
ये जो औरतें अपने कंधे को ,आंचल से ढक कर चलती हैं ...
ये अपने बदन को ही नहीं छुपाती,
अपनी जिम्मेदारियों को भी संभाल कर चलती हैं ...-
कई बार ऐसा होता है ,
सुनने वाले तो मिल जाते है
पर कुछ लोग अपनी बाते दिल में ही छुपाकर रखते है..-
बातें छुपाने की भी कभी - कभी मजबूरी बन जाती है
पल जाती हैं गलत फहमियां और हमारे रिश्तों मे दूरी बन जाती है-
छुपा लेते हैं वो हर बात इस तरह ,उन्हें इक बहाना चाहिए
बेशक हम उन्हें नहीं समझे , उन्हें तो समझ जाना चाहिए-
अनजानी गलियों मे वो आने जाने लगे हैं
शायद इसी लिये आप को भुलाने लगे हैं-