QUOTES ON #विक्रम_संवत

#विक्रम_संवत quotes

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(🚩विक्रम संवत् मनायेंगे🚩)

यह कैसा नववर्ष आया हैं, जब सूरज भी शरमाया है,,
कांप रहा जनमानस सारा, अंधकार बस छाया है।
नव नूतन है कुछ भी नहीं, बस दुखद आगमन पाया हैं।
बस्ती, गलियों में सब सुना, मौसम ने ठंड बढ़ाया हैं।।

ये हवा पश्चिमी जान गये, हम अपना नववर्ष सजाएंगे,,
हम आर्यवर्त के वासी हैं, विक्रम संवत् मनाएंगे।

सत्य सनातन ध्वजा लिए, जब मास चैत्र दिन आएंगे।
मनभावन मौसम के संग, वृक्षो पर कोपल खिल आएंगे।।

हर जनमानस के भीतर एक नई उमंग हम पाएँगे,
दुल्हन बनी तब धरती से तब खेतों में रौनक आएंगे।

राम नाम के संग नव नूतन दिन तब आएंगे,
हम आर्यवर्त के वासी हैं, विक्रम संवत् मनायेंगे।।
तब अपने संस्कृति से हम गौरवान्वित हो जाएंगे,
हम आर्यवर्त के वासी हैं, विक्रम संवत् मनायेंगे।।
(चन्दन राय"छोटु")

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2 APR 2022 AT 14:04

भारतीय हिंदू नववर्ष विक्रम संवत 2079 की
हार्दिक शुभकामनाएं🙏

🚩🚩जय श्री राम🚩🚩

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चैत्र शुक्ल प्रतिपदा से होता है नव आरंभ,
सभी सनातनी हिन्दू के नववर्ष का आरंभ।

नौ दुर्गा के आगमन से शोभित होता नववर्ष,
अधर्म पर धर्म की विजय से पुष्पित हो नववर्ष।


आपको और आपके परिवार को
हिन्दू नववर्ष एवम चैत्र नवरात्रि की
हार्दिक शुभकामनाएं 🙏

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13 APR 2021 AT 13:49

।। "नववर्ष" ।।







#अनुशीर्षक

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13 APR 2021 AT 15:19

सर्व मंगल मांगल्ये शिवे सर्वार्थ साधिके।
शरण्ये त्र्यम्बके गौरी नारायणी नमोस्तुते।।
या देवी सर्वभूतेषु शक्तिरूपेण संस्थिता।
नमस्तस्यै नमस्तस्यै नमस्तस्यै नमो नम:।।

आप सभी को चैत्र नवरात्र तथा हिंदू नववर्ष संवत्सर विक्रम संवत 2078 की हृदयतल से शुभकामनाएँ🙏 माता रानी की कृपा हम सब पर बनी रहें
।।जय माता दी।।



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6 APR 2019 AT 10:03

जीवन के एक पड़ाव में,
एक अध्याय का आया है,
जब शुभ नया वर्ष आया है।

नई कोमल कोपलें फुट साँस ले रही,
पक्षी वायुमंडल में मांगल गीत गा रही,
कुछ धुंधली आशाएं पुनर्जन्म ले रही,
प्रकृति भीतर प्रसंता लिए छटपटा रही।

आसमां बिछाए धरती भी स्वागत कर रही,
नई सुबह के भांती खुशनुमा जीवन मांग रही,
द्वेष के धुँए से दूर बेहद भागना चाह रही।

स्वयं मैं, नए साल में नई उमंग की बात कर रहा,
नए सुबह की महक, अपने जीवन में बुला रहा,
मात्र काब्य में ही नही, वास्तविकता में चाह रहा।

नए वर्ष की नई सुबह, न मलिन होना इस युग की बातो से,
काले अंधेरे की छांव में,तेरा इंतजार करता रहा कई रातों से।
- DEEP THINKER








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13 APR 2021 AT 18:09

माँ दुर्गा के 32 नाम

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2 APR 2022 AT 13:53

नव वर्ष

आस का हो वास हिय में , राह हो उत्कर्ष की ।
प्राण में उल्लास भरतीं , रश्मियां नव वर्ष की ।।




अनुशीर्षक

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25 MAR 2020 AT 14:50

जीवनके युद्ध मे जब जब भी में हारा,
माँ तुने ही तो मुझे पूत्र कहकर संभाला..!
-शिवराजसिंह ‘सनातनी’

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25 MAR 2020 AT 6:46

चैत के शुभ दिन आयो रे।
मंगल गीत सुनाओ रेे।
बंदनवार सजाओ रे।
चंदन तिलक लगाओ रे।
आंगन रंगोली बनाओ रे।
रघुनंदन को पुकारो रे।
आया नववर्ष मंगलदायक,
मन में मोद मनाओ रे।

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