इश्क तो दिल देखकर होता है
चेहरे देखकर तो शादियाँ होती हैं ,,,!-
सुकूँ से सो जाती है मेरी माँ आज भी।
बेटा बेरोजगार है लेकिन,आवारा नही।।-
वाह री सियासत तेरे भी हैं क्या ही कहने
औलाद को पढ़ाने में मां ने रखें है गिरवी गहने
कहीं मज़हबी अत्याचार तो कहीं महंगाई की मार
हाथों में डिग्री ले, देश का युवा घूम रहा है बेरोजगार
भर्तियां हर बरस निकाल कर तूने खूब राजस्व कमाया
फिर बहाली के लिए युवाओं को अदालतों में घुमाया
शायद खबर नहीं तुझे, कि जो ये बगावत पर उतर जायेंगे
चेहरे के नकाब के साथ साथ तेरे कपड़े भी उतर जायेंगे
आ दिखाऊं तुझे तेरे विकास के दावे के कुछ निशान
आत्मनिर्भर भारत में सड़को पर बैठा है देख किसान
ये तो सच है कि सियासत पूरी तरह से गंदी हो चली है
"निहार" कुसूर इसका नहीं, आवाम ही अंधी हो चली है-
बेरोजगारी के तानों से
दर्द नहीं होता साहब ,
दर्द तो तब होता है
जब खुद पर ही
भरोसा ना रहें ।-
"एक वक़्त के बाद न 'अभि' कमबख्त ये 'बेरोजगारी' लोगों की आदत बन जाती हैं।
फ़िर धीरे-धीरे वो 'इंसान' को आर्थिक, मानसिक व सामाजिक रूप से खा जाती हैं।"-
बेरोजगार
अपनी काबलियत देखकर समंदर को पसीना आएगा।
सरकार किसी की भी हो पर अपना टाइम कब आएगा।-
राजीनीति की खाट पर, बन्धा पड़ा विकास
बेरोजगारी खेल रही, स्मार्ट फ़ोन पर ताश-
इस कदर सरकार पापी चल रही है।
नौकरी की आपाधापी चल रही है।
पढ़के ख़त्म होके भी ना नौकरी मिली,
मंत्री जी की चाय काॅफी चल रही है।
खेत की ना कर्ज़-माफ़ी चल रही है।
बहन की भी उम्र काफ़ी चल रही है।
माँ छुपाती फिर रही खुद की बीमारी,
इश्क में वादा-खिलाफ़ी चल रही है।
इस कदर सरकार पापी चल रही है।
नौकरी की आपाधापी चल रही है।-
हर चीज की एक कीमत अदा होती है।
तुम समझा करो मोहब्बत भी एक सजा होती है।
जब बेरोजगारी का आलम हो,तो ये जिंदगी भी खपा होती है।
दोस्त यार सब दूर हो जाते हैं, जब गरीबी की छांव होती हैं।-