एक दो तीन,
चिबिल्ला है चीन,
चार, पांच, छः,
परेशानी की वजह,
सात, आठ, नौ,
इंतज़ार क्यों?
दस, ग्यारह, बारह,
चढ़ गया पारा.!
तेरह, चौदह, पंद्रह,
करो सीधा हमला !
सोलह, सत्रह, अठारह,
देश हमको प्यारा,
उन्नीस, बीस, इक्कीस,
भारत पड़ेगा बीस..!
सिद्धार्थ मिश्र-
भुला नहीं सकेंगे हम, अपनें वीरों के बलिदानों को।
उनके परिवार के रुदन को, बच्चों के अरमानों को।
बहुत हुआ शांति-समझौता, इनको अब सबक सिखाना होगा।
पीठ पर जो मारा है खंजर, इनको भी आंख दिखाना होगा।
प्रतिशोध की भड़की है जो, ज्वाला अब यूँ अटल कर दो।
मसला अक्साई चीन-लद्दाख का, लगे हाथ ही हल कर दो।
गलवान घाटी में करके हमला, कब्र तुमने खोदी है।
चीन सुन बैठा है जो दिल्ली में, बाप तुम्हारा मोदी है।
छक्के छुड़ा दिये पाक के, कुछ वैसे ही तालीम पे हो।
मोदी जी बस यही गुज़ारिश, अगली स्ट्राइक चीन पे हो।-
चाइना न करो ये धूर्तता हट जाओ सीमा से दूर,
ये है 2020 का भारत जो कर देगा तुम्हें चकनाचूर-
नेपाल सी मासूम आँखे तेरी
चीन सा क़ातिल इरादा है
पसार रही हो जो तुम बाँहें
हुई मोहब्बत कुछ ज्यादा है?
-
Writer mr Vivek Kumar pandey
"सुन हो गया ये दुनिया
बस एक ही महामार से
डरना नहीं है ये चीन और ये पाकिस्तान से".।-
चीन की हरकत नापाक थी।
पांगोंग झील पे कब्जे की बात थी।
गलती कर बैठे थे,
भारत को 1962 का भारत समझ बैठे थे।
ये बदला हुआ भारत का बदला मिजाज था,
एक छोटी सी गलती का भी बरा जबाब था.!-
चीनी से बनती मिठाई, अब चीनी मिठाई आती है
त्यौहार होते भारत में, खुशियाँ चीन में मनाई जाती है-
मनी प्लाॅट की जगह ,अमर बेल ना बन जाये
जिस तरह ये अदृश्य बवा फैल रही है-