'मतलब' का तो कोई भाव नहीं है....
'मतलब' सबका....
अपनी परिस्थिति या प्रतिक्रिया के अनुसार है...
विचारों की दुनिया 'मतलब' के ज्यादा समीप है
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I am a homemaker
Not a writer but love to write
I wrote my thoughts
Not my life
'मतलब' का तो कोई भाव नहीं है....
'मतलब' सबका....
अपनी परिस्थिति या प्रतिक्रिया के अनुसार है...
विचारों की दुनिया 'मतलब' के ज्यादा समीप है
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देना है मुझे कुछ तो ,अपने हिस्से का मौन दे दो
तुम बोलते रहो आवाजों को अपनी ...सुनाओ....चीखो....
कोई अस्तित्व नहीं जिनका तुम्हारे बाद....
मैं लिख जाऊंगी अपना मौन कागज पर...ना ना ...
बोलूंगी नहीं मैं... पर दिल में उतर जाऊंगी...कागज के...-
जिन उद्देश्यों के साथ हम गर्भ में आते हैं
उन्हें पूरा करना हमारी नियति है-
जीवन और मौत के बीच में है शून्य
और ये शून्य ही ब्लैक होल है
महत्वाकांक्षी ब्लैक होल-