सुप्रभात के सूर्य किरणों ने...
जैसे डाला है, धरा पर डेरा...
वैसे ही तेरी स्मृतियों ने...
है मेरे तन-मन को घेरा...-
पहले में इतना बेवक़ूफ़ था की में समझता था ,
लड़कियां क़सम खाने के बाद झूठ नहीं बोलती !
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शरीर, वाणी और मन द्वारा सूर्य देव को प्रणाम करें,
यश, सफलता और धन सूर्य देव की कृपा से हमेशा आपके साथ रहे।
ऊर्जा व रोशनी के देवता है दिनेश,
समृद्धि की सूर्य भगवान से प्रार्थना है की ढेर सारी खुशियाँ आपके जीवन में करें प्रवेश।
भानु के सुबह दर्शन से सकारात्मक ऊर्जा का शरीर में होता है प्रवाह,
शरीर में आलस्य नहीं आता व जीवन में आगे बढ़ने का बना रहता है उत्साह।-
तुम मेरी आँखों में सूर्य की भाँति चमकते हो |
मैं तेरे होठों पर नज्म सी ठहरना चाहती हूँ ||-
வலி நிறைந்த
விமர்சனங்களை
தகர்த்தெறிந்து
காதலில் வென்று
இளைஞர்களின்
வழிகாட்டியாக
நெறி தவறாது நடந்து
அகரம் கண்ட நீ
சிகரம் தொட
வாழ்த்துக்கள்...-
एक दिन चंद्रमा ने सूर्य से पूछा..
तुम्हें ये जहान रोशन करने का कैसे सूझा?
तुम्हारे स्वागत को सब 'सूर्य नमस्कार ' करते हैं..
सब पर आभार है तुम्हारा.. तभी सत्कार करते है!
मैं क्या हूँ! क्या अस्तित्व है मेरा..
न मेरे स्वागत में नमस्कार हुऐ.. न हुआ सवेरा!
तुम ज्ञानी हो.. महान हो.. मुझे काबिल बनाओ ना..
ये समस्त जहान को रोशन करने का हुनर.. मुझे भी सिखाओ ना!
सूर्य फिर चंद्रमा की नादानी पर मुस्काया..
"अंधकार बिना प्रकाश क्या! " सूर्य ने समझाया..
"तुम्हारे अंधकार में मेरा प्रकाश या मेरे प्रकाश
में तुम्हारा अंधकार.. कौन जाने?
तुम हो तो मैं हूँ या मैं हूँ तो तुम हो.. क्या मानें?
मेरे हुनर का क्या करोगे.. अपने हुनर की कद्र करो..
फिर तुम्हारे भी नमस्कार होंगे.. ज़रा सा सब्र करो..
अगर तुम भी रोशन करने लगे..
तो रात्रि-दिवस में अंतर क्या!
अगर तुमने तम को त्याग दिया तो फिर ये जहान निरंतर क्या!"-
सूर्य के गर्मी से ज़्यादा चंद्र के ठनडक में रहा हूं मैं,
अपनों से ज़्यादा तो अपने संग खुश रहा हूं मैं।
अब तो ना मौत से डर है ना जीने की तमन्ना,
बस अपनी फाका मस्ती में ही चूर रहा हूं मैं।।-
हँस रहे थे बादल
खुद पे कर के नाज
ढक दिया सूरज
छुपाये अपने राज,
सूरज तो वह है
नित्य और सत्य है
भूल गये बादल,
अस्तित्व भी उन्हींसे है
सत्य तो सुर्य है,
छुपता नहीं छुपाने से
वक़्त वक़्त की बात है,
वो रुकता नहीं रोकने से।-
प्रिये तुम्हें अंतर मन में सदैव बहुतायत से पाता हूँ,
तुम पत्तों पर ओस सी मैं सूर्य किरण बन जाता हूँ।-