कृष्ण जैसे इश्क़ की परिभाषा कौन लिखेगा
हज़ारो सखियों से घिर कर भी
हृदय से बस राधा नाम कौन रटेगा-
नास्तिक से आस्तिक
बना के वो गई
कृष्ण का नाम मेरे
मुख पे रख गई
खुद ने छोड़ा मेरा साथ
और जाते जाते
कृष्णा को
मेरे साथ कर गई
जय श्री राधे कृष्णा
🙏✍️-
श्याम-नील वर्ण देह,
कृष्ण-केश शीश सोहे,
कमल नयन मानों,
माया ही समाती है।।
श्याम श्याम श्याम सांझ,
श्याम श्याम श्याम लाल,
श्याम मेघ चीर द्युति,
दसन दिखाती है।।
(सभी छंद अनुशीर्षक में पढ़ें)
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काल तू विकराल भी तू
समय की गणना तू और समय की चाल भी तू
राधा का प्यार तू
शबरी का इंतजार भी तू-
राधा रानी के 5248वें जन्मोत्सव
के लिए सजने लगा बरसाना !
हर गली में गूंजेगा बस राधे राधे का
गान सुहाना!!-
बहुत खूबसूरत हैं मेरे ख्यालों की दुनिया,
बस कान्हा से शुरू और कान्हा पर ही खत्म।
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जब से ह्रदय में मेरे "कृष्ण" समाया है
तब से कोई फर्क नहीं पड़ता कौन अपना और पराया है ।-
हो सके तो सुबह उठते ही
अपनों को याद कर लिया करो,,
क्या पता आपका एक लम्हा
उन्हें पुरे दिन की
.ख़ुशी दे जाए,,,
*good morning*-