हर चेहरे के पीछे एक चेहरा और छुपा होता है... होता तो वही है जो मंजूरे खुदा होता है..। रूठे हुए को हंसकर मना लोगे तो अच्छा होगा.. दिल जिसे चाहता है उससे हि ख़फा होता है..
चेहरों को ढ़क के नकाब चल दिए, हुनर को तराशने खि़ताब चल दिए, वो बदकिस्मत ही रहा जो मजलिस तक कभी पहुंचा नहीं, शहर को दिखाने सूरत-ए-हाल, आदम के कितने देखो किरदार चल दिए, चेहरों को ढ़क के नकाब चल दिए।।