चाँद का गुरूर कुछ इस तरह बिखर गया
तुम्हारे आते ही जब अमावस्या का आसमाँ निखर गया!
ऐसी खुदगर्जी को अब क्या नाम दूँ कि
तेरे मनाने के लिए हर पल में तेरा इंतजार बिखर गया!!-
माफ़ करना तेरी खुदगर्जी पर लिखूंगी।
होगा तू ईमानदार दुनिया के लिये पर
अपनी कहानी में तुझे बेईमान ही लिखूंगी।-
#खुदगर्जी .. @DEVILPRINCE2.0
खुदको अपनी नज़रों में गिराना छोड़ दे
मेरे दोस्त जब कदर नहीं उसको तेरे समझाने की...
तो फिर ऐसे लोगों को तू भी समझाना छोड़ दे-
खुद के लिए, खुद से ज्यादा, उसको चाहना,
इश्क से बड़ी कोई खुदगर्जी, दुनियाँ में नहीं-
बदलते वक्त ने ज्यादा अकलमंद बना दिया नसीम,
अब लोग नाम-ओ-रंग-ओ-रूप देखकर इश्क करते हैं।-
सपनों को टुटते देखी हू,
बर्बादी कि मंज़र देखी हू,
गेरो से क्या गिला करूं अपने कतल का,
मैंने अपनों के हाथों में खंजर देखी है-
चल तुझे अपनी खुदगर्जी का एहसास कराती हूं... मोहब्बत का फरेब कर,
छोड़ चले जाने वाले ...........
तुझे रिहाई में माफी से नवाजती हूँ ।।-
बेअदबी
उनकी नहीं, जो छोड़ गए
खुदगर्जी
हमारी है जो साथ चाहते थे...-
इंसान भी कितना खुदगर्ज है ना!?
उसकी सांसों को छिन ने वाले
को ये होठों से लगाता है..
और इसकी सांसों को चलाने
वाले पेड़ों को ही ये काटता है..-