QUOTES ON #आस्तीन

#आस्तीन quotes

Trending | Latest
18 OCT 2020 AT 13:51

जो आस्तीन पे खंजर, छुपाकर मिलेंगे
सामने से सब दिन, मुस्कराकर मिलेंगे

जो तुमसे जले हों , जलाने की लौ में
वो हमदर्दी का मरहम, लगाकर मिलेंगे

जो मिलने से रोका, जमाने ने हमको
सच कह रहे हैं, जहर खा कर मिलेंगे

दिन भर जताते मोहब्बत जो थकते नहीं हैं
किसी दिन मजबूरी का खर्रा बनाकर मिलेंगे

भूलेंगे चेहरे की झुर्री, माथे की सिलवट
बच्चे जो उनके, खिल - खिलाकर मिलेंगे

नेहरू ये जिन्ना सावरकर अगरकर सियासी
सियासत में मजहब, को ला कर मिलेंगे

दुश्मन से कह दो, कि कायर नहीं हम
गर मिलेंगे तो मैदां, में आकर मिलेंगे

नतीजा हो कुछ भी, है तौफीक इतनी
दुश्मन की आंखो से, आंखे मिलाकर मिलेंगे

'UV' हैं बड़े शातिर, ये कातिल तुम्हारे
मिलेंगे तो सारे सिनाकत मिटाकर मिलेंगे

-


31 JUL 2019 AT 13:57

जिंदगी के सफ़र में जो बेहद खास थे,
असली में वे ही आस्तीन के सांप थे ।।

-


3 AUG 2019 AT 8:46

लूट-मार के गवाह होते हैं आस्तीन के साँप
मक्कारी की पनाह होते हैं आस्तीन के साँप

आपके पीठ पीछे ही बसती है इनकी दुनिया
वैसे तो हर जगह ही होते हैं आस्तीन के साँप

घर में होकर भी कभी घर के नहीं हुआ करते
बेवजह की ये कलह होते हैं आस्तीन के साँप

धोख़ा देना तो इनका जन्म सिद्ध अधिकार है
सिर्फ़ अपनों में बिरह होते हैं आस्तीन के साँप

जब भी कोई तड़पता है तो इनको हँसी आती है
बेईमानी की एक सतह होते हैं आस्तीन के साँप

समझदारी इसी में है कि इनको कभी ना पालो
बर्बादी का अलग ग्रह होते हैं आस्तीन के साँप

ज़रा दूरी बनाकर रखना इनसे हमेश़ा "आरिफ़"
गंदगी की एक गिरह होते हैं आस्तीन के साँप

अपने आप को "कोरा काग़ज़" जैसा दिखाते हैं
ज़ुल्म की असल वजह होते हैं आस्तीन के साँप

-


8 DEC 2018 AT 7:22

मैं खुद को आग न कहता
तो भी वो उतना ही जलते
मुझे ख़बर है मेरे आस्तीन में
कितने जहरीले साँप हैं पलते

-


29 APR 2018 AT 13:30

नाप लेता है मेरा दर्ज़ी, तो पूछा करता है मुझसे,
दोस्त ज़्यादा हों, तो आस्तीनों में गुंजाइश रख दूँ..

-


17 MAR 2019 AT 10:01

इतना जलोगे मुझसे जानता न था
आग है मुझमें मैं ये मानता न था
मेरी आस्तीन के साँप हो तुम
गलती ये मेरी पहचानता न था

-


22 APR 2018 AT 9:23

रोशन किया जिन्हें वो ही जलने लगे हैं
बन के साँप आस्तीन में पलने लगे हैं
उठ गया है भरोसा इस जमाने से
हम आजकल अकेले ही चलने लगे हैं

-


6 AUG 2018 AT 16:22

प्रिय साँपों,

वापस आस्तीनों में समा जाओ,

फ्रेंडशिप डे समाप्त हो चुका है....!

-


3 DEC 2019 AT 6:51

ये कौन जानता था कि चरित्र उनका दोहरा था
वो थे एक खिलाड़ी और मैं सिर्फ एक मोहरा था
देख न सके हम अपने आस्तीन के साँपों को
अँधेरा नहीं था मगर वहाँ घना कोहरा था

-


22 APR 2019 AT 21:10

वो सीने के बल चलता था
मेरी आस्तीन में रहता था
.
.
.
.
मौत मेरी ज़हर से हुई है।

-