She kisses him on the phone enthusiastically *muah*
Background music:
Swachh Bharat ka irada
Phone sex cancelled.-
जिस घर में रहते हैं
उसको स्वच्छ रखते हैं
और जिस देश में रहते हैं
वह अस्वच्छ क्यों ?
जिस घर में रहते हैं
उसकी बहू बेटियों की रक्षा करना धर्म हैं
और जिस देश में रहते हैं
उस देश में बहू बेटियां असुरक्षित क्यों?
जिस घर में रहते हैं
उसमें हम शांति बनाकर रखते हैं
और जिस देश में रहते हैं
उस देश में अशांति क्यों?
क्यों?-
Cleanliness Drive🧹
Sometimes I discern educated being least literate,
Than uneducated being literally uncivilised.
Keep your little space clean, little things organised &
Dispose your little rubbish with proper care.
#wakeupIndia #swachhbharat #beresponsible1st-
चाहे कपड़े branded हो या ना हो
पर सोच हमेशा branded होनी चाहिए।
" हिमांशु बंजारे "-
ऐ देश के मालिक ये तो बता
क्या तुझको नहीं ये दिख़ता है
जिस देश में गंगा बेहती है
उस देश में पानी बिकता है॥
- रोहन श्रीवास्तव-
यूं तो हम सब सरहद पर पौरुष, दिखलाना चाहते हैं
इस्लामाबाद की धरती पर भी, ध्वज लहराना चाहते हैं
यह ख्वाब बेशक पूरा होगा, यौवन में वह ताकत है
शेरों के जो दांत गिने, रक्त में वही हिमाकत है
पर भारतवंशियों की हालत, आज शर्म आती है हमें बताने में
हम नाक सिकुड़ने लगते हैं ,एक कागज का टुकड़ा उठाने में-
मना कर रही है अब तो वो गंगा भी
खुद की लहरों को ओढ़कर खुद की ही धराओं में नहाने से
संभल जा जरा ऐ स्वच्छता अभियान के पुजारियों
पवित्र-सी हमारी गंगा में अपवित्रता फैलाने से-
"मानसिकता कब बदलोगे साहेब"
कल जब मैंने दो लड़को से कूड़ा कूड़ेदान में डालने के लिए आग्रह किया तो उसमें से एक लड़के ने कहा 'ज्ञान ना बाँटो निकल लो' फिर भी मैं इस उम्मीद में खड़ा रहा कि शायद कूड़ा कूड़ेदान में डाल देंगे,लेकिन ऐसा बिल्कुल नहीं हुआ साहेब,बल्कि ज्ञान बाँटने के चक्कर में गुरु-दक्षिणा के रूप में धक्का मिला और मैं गिर गया जिससे हाथ में थोड़ी चोट आईं, थोड़े कपड़े गंदे हुए और कुछ लोगों के लिए मनोरंजन का पाञ भी बना | फिर कया था साहेब ठहरा मैं भी जिद्दी आदमी धीरे से उठा कूड़ा कूड़ेदान मेें डाला आैर निकल लिया...-
Everywhere I look all I can see,
Is waste began dumped into the sea ?
I sit watching helplessly,
And think of the dying animals sorrowfully.
Do you realize what's happening is then ?
While you are dumping waste they are reaching heaven !!
Do you think what we are doing is human !?
Or do you think why we are being inhuman ?
Why not try and secure their habitat ?
We can save them we know that.
Yet we do not try....!
Can you tell me why.....?-
सफाई के सिर्फ दो नियम हैं
रोको और टोको , ये दो नियम ही हालात बदल सकते हैं । कचरा फैलाने से खुद को रोको और दूसरों को टोको । हम खुद करें तो दूसरे भी हमें टोकें , बेहिचक बेझिझक ।हमें एक दूसरे का मददगार , चौकीदार और पहरेदार खुद बनना होगा , जितनी जल्दी ये समझ आ जाए उतना अच्छा ।
मैं तो खुद उठा कर और ऐसा करने वालों को दिखा दिखा कर कचरा कूड़ेदान में डाल देता हूँ लोकलाज कारगर ईलाज होता है ।-