ये सारे मीठे सपने,जो तूने है देखे है,
सच होंगे रे,ओ पंछी रे।
ये खट्टे मीठे सपने,समेटे है गुल्लक में,
सच होंगे रे,ओ पंछी रे।।
हर पल उन सपनों को देखना
तेरी आदत है पंछी रे,ओ पंछी रे।
नई उम्मीदों से हर दिन उठना,
यही तो जीना है पंछी रे,ओ पंछी रे।
जब जब देखा इसको उसको हर पल मन घबराया,
उसकी लगन मुझसे ज़्यादा,हर पल ख्याल आया।
पर तेरी ही फ़ितरत ने है तुझको बनाया,
वो मेहनत ही तेरा एक सहारा ओ पंछी रे।।
ये सारे मीठे सपने,जो तूने है देखे है,
सच होंगे रे,ओ पंछी रे।
ये खट्टे मीठे सपने,समेटे है गुल्लक में,
सच होंगे रे,ओ पंछी रे।।
-