"जहां दूरियों के दरमियां भी नज़दीकियां
कायम रहती है
वहां "मैं" की जगह , जब "हम" की जगह
ज्यादा रहती है
खुश रहे वो मेरे साथ की जगह, खुश रहे
"वो" की जगह ज्यादा रहती है
रिश्तो को दिये नाम के बंधनों की जगह, अनकहे
एहसास की जगह ज्यादा रहती है
जहां दूरियों के दरमियां भी नज़दीकियां
कायम रहती है"
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