ख्वाब देखा करो
उस पर्मेश्वर के मिलने का
जिसने छ: दिन में सृष्टि रचना की-
9 AUG 2020 AT 10:57
24 JUN 2021 AT 15:56
बुरा जो देखन मैं चला, बुरा न मिलिया कोई
जो दिल खोजा आपना, मुझसे बुरा न कोई
संत कबीर
जात धर्म जो देखन चला, सो बुरा काहे न होये
जात धर्म से ऊपर उठा, सो संत कबीर काहे न होये
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31 AUG 2021 AT 19:19
मस्त फकीरी धूनी रमाए मन भाए
जगत पालक शिव ही शिव
एक कदम तेरे बिन कटे न कटे पल
जगत पालक शिव ही शिव
रहमत भी तू बरकत भी तू
मारक भी तू संहारक भी तू
जगत पालक शिव ही शिव
शरण तेरे दर पे झोली लेकर
आशीष मांगू झोली भर के
रावण को दी आशीष भरकर
हम भी इतने निसाचर नही
शिव सत्य है शिव अनंत
मेरे भोले बाबा समस्त जन कल्याण कर।
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