QUOTES ON #BETIYAAN

#betiyaan quotes

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1 MAR 2021 AT 16:21

आयशा तुमने केतना कुछ सहा होगा ना !!
तब भी तो ये कदम उठाया होगा ना!!
हंसता होआ चहरे पर ना जाने !!
केतना दर्द का पहरा होगा ना !!
जब नदी में कूदी होगी तो
नदी भी रोई होगी ना !!
अपनों से लड़ते लड़ते आखिर
कार खुद से हार गई होगी ना !!
बाप की लाडली , माँ की दुलारी
फिर एक बेटी दहेज़ के लिए
अपनी जान गवां दी ना !!
रहमत बन कर उतरी थी
क्यों जहमत बन गई बेटी !!
मेरा जुर्म गुनाह क्या है बतलादो
पूछती राह गई बेटी !!
बेटीयों पर लिखते लिखते
सिहाई कम पड़ रही सबकी !!
मगर फिर भी हैवानों की
हैबानियत कम नहीं हो रही !!

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6 AUG 2019 AT 13:12

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19 NOV 2021 AT 12:02

जिनकी आमद से घर कर जाती हैं ख़ुशियाँ,
वो प्यार की मूरत बने घर आती हैं बेटियाँ।

आक़ा का फ़रमान है, पक्का उसका मक़ाम है,
अपने साथ जन्नत की बशारत लाती हैं प्यारियाँ।

घर में सरगम से मधुर, बजने लगते हैं जो सुर,
मीठी इनकी बोलियाँ, छन छनाती हैं चूड़ियाँ।

बेटे गर हों चराग़ तो बेटियाँ भि कुछ कम नहीं
लिए आँखों में वक़ार वो सजाती हैं पगड़ियाँ।

घर-आँगन को छोड़ कर जब चली वो जाती हैं,
जैसे चमन को छोड़ कर चली जाती हैं तितलियाँ।

ज़ाहरी नज़ाकत भी है, बातिनी ताक़त भी है,
ग़ैज़ पे जो आगईं, मिटा के रखती हैं हस्तियाँ।

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30 JUL 2021 AT 0:18

सवाल था बस इतना " वो या हम " ??
ज़िंदा मरकर बेटी ने किया प्रेमिका को दफन ।।

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19 NOV 2020 AT 15:41

मैं भी जीना चाहती हूँ मुझे भी जीने दो
मेरी इस उड़ान को पंखों से उड़ने दो ।
पैदा होते ही जिन्दगी से लडती आयी हूँ
मारो ना मुझे मैं तुम्हारी ही परछाई हूँ ।
बचपन से बुढापे तक बेटियाँ ही साथ निभाती हैं
बेटे जहाँ रुलायें तुम्हें बेटी वहाँ हंसाती है।
गृह्लक्ष्मी बनके उसने घरों को स्वर्ग बनाया है
फिर क्यों समाज ने हर बार उसको ही ठुकराया है।
नन्हीं परी की लेकर जान, कैसे स्वर्ग बनाओगे
बेटी को ही मारोगे तो माँ कैसे पाओगे।
तो जीने दो,उन्हें भरने दो ऊँची उड़ान
देखना बेटियाँ पढ-लिखकर
बढाएँगी तुम्हारा सम्मान।।

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15 MAY 2021 AT 18:35

बिना पंख बेटियाँ एक दिन पिता की जिंदगी से उड़ जाती हैं.

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30 SEP 2020 AT 15:20

❣️ सच्चाई ज़िन्दगी के❣️

बेटियां कहने को ही सिर्फ़ पराई हैं ।
सच तो ये है
मायके से ससुराल तक इसने
नाज़ुक हथेलियों से सजाई हैं !

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9 DEC 2019 AT 18:37

अब वक़्त आ गया है, 
खोलने का संदूक बंदूकों का...!!
बेटिया सुरक्षित नहीं, 
ये समाज बना है बेजान बुतो का...!! 
-©️Saurabh Yadav...✍
 

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1 JUN 2022 AT 16:07


बेटियाँ विदा हो जाती हैं तो,
पर छोड़ जाती हैं अपने मन
को बाबुल की देहरी पे ही

( मन उनका सिसकता पड़ा रह जाता है बाबुल की देहरी पे)

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22 DEC 2020 AT 19:36

Betiyon ki badaulat
paa_kar
Hi Ghar aavad hai
Agar na hoti
Betiyaan to
Ye sansaar
be_kaar
hai

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