अनजाने रास्ते पर भी सहूलियत से चलने का हुनर रखते हैं ...
अरे हम नए भारत की नारी हैं साहब !
जिंदगी भर जिंदगी से लड़ने का सब्र रखते हैं ...
लेकिन जो जंग हो हमारी आबरू की तो,
हम अपने दुश्मनों के लिए कफन और कब्र भी रखते हैं ...-
छुपा ने की कोशिश कर रही थी आँखों में उस दर्द को जो अंदर से बड़ी तकलीफ पहुँचा रहे थे कमबख्त आँसू ही दर्द-ए-राज बयाँ कर गए..!!
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लोग अपनी किस्मत पर इतराते है,
और एक हम है जो अपनी किस्मत पर शरमाते है।-
फूलों की राह पर चले थे
लेकिन काँटो से भी ताल्लूक हुआ
इस गम भरी ज़िन्दगी में हमारी
मुलाकाते कुछ खुशियोँ से भी हुए है
मन की रित, मन की प्रीत
कोई नजाने इस दिल की दास्तां
को हजारो गम सीने मे दबाएँ
ये मन भंवरा सा गुमे .....
सब को एक खुशी की लहर
दे जाता और अपने दिल मे
दबे हर दर्द को छुपा जाता..!!
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जले पर नमक छिड़कना तो इस दुनियाँ वालो से सीखों ये तो उन घावों को भी उद्देड़ देती जिनको हम सबसे छिपा कर ख़ुद ही उन जख्मो पर मलहम लगाने की कोशिश में रहते है..!!
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खुद के अस्तित्व की रक्षा का प्रण
कैसे निभाऊ मैं ,
जब औरो ने उठाई उंगली हो ।
और अपनों के ही कारण
चुप रहना पड़े ।
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तुझसे बिछड़ कर भी हम क्यों जिंदा है
तुम से इश्क करके हम बहुत शर्मिंदा है-
तुम तरकीब निकालती रहो रूठ जाने कि
हम तरीका ढूंढ लाए तुम्हें भूल जाने का-