Dosto ki yaad ab bhot aati h...❣️
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4 JUN 2020 AT 12:16
समझ नहीं आया, उसके अजीब से प्यार में
कहां बेवफ़ाई थी, और कहा सच्चा प्यार था-
5 FEB 2019 AT 17:52
तुम्हारी राहों में यूँ तो फूल बिछाएं है मैंने
खुद काँटो पर चलकर आया हुँ!!-
1 OCT 2020 AT 15:40
माफ़ करना ये जालिम मुझको, हद मैं रहना छोड़ दिया
हम आजाद परिंदे हैं🐦🐦🐦
और हद मैं तो हम बचपन में ना थे🐣🐣
तो कैसे तेरी मान ले👈-
26 JUL 2020 AT 8:11
दुनियां बड़ी होशियार है
यहां रिश्ते सिर्फ़
औकात देखकर ही बनाए जाते हैं-
23 SEP 2018 AT 9:15
कभी-कभी सोच में
बचपना होना बहुत जरूरी है
जिन्दगी बहुत रूलाती है जब...
सोच समझदार हो जाती है-