नाक पे गुस्सा और दिल मे प्यार रखती हूं...
सुना है झांसी की रानी की तरह,
आंखों में अंगार रखती हूं..!
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पहले नजरें गढ़ाते हैं,फिर उंगली उठाते हैं, ऐसे लोग खुद को मर्द कहलाते हैं
औरतों को पैरों की जूती कहते हैं, और जनाब आलम ये हैं कि वो जूती पहने बिना रह भी नहीं पाते हैं
औरतों पर हाथ उठा के वो खुद बाहुबली समझते हैं, वो नासमझ उनकी खामोशी को उनकी कमजोरी समझते हैं
ऐसे लोग रिश्तों को भी तार तार करते हैं, खुद बाप होके अपनी ही बेटियों के साथ बलात्कार करते हैं
अबे ऐसे लोग मर्द होते हैं, तो हम औरत ही अच्छे हैं, और ऐसे लोग ताकतवर होते हैं तो जनाब हम कमजोर ही अच्छे हैं
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में उस महान आत्मा।
की तलाश कर रहा हूँ।
जिसने मेरी कम्पलेंट की थी ।
मिल जाये तो पैर पकड़ के पूछे ।
प्रभु आपकी आंखों में मोतियाबिंद हो गया क्या ।
जो अब कुछ दिखाई नही दे रहा ।
कॉपी कंटेन्ट , वल्गर कंटेन्ट , प्रमोशन पोस्ट बगैरा बगैरा ।
तनिक वाकी यूज़र्स पर भी कृपा बरसाये ।
घोर कलयुग में अवतरित हो गये हम तो ।
प्रभु भी सरासर बेईमानी कर रहे ।
your quote वाले ।
हम बालक नादान एक बार में समझ लेते है ।
अब तनिक मार्गदर्शन वाकी यूज़र्स को प्रदान करे ।
दर्शन को प्यासे नयना । जय हो तुम्हारी ।-
Apni nazro ko kabu mai rakhiyai
Apni khwaisho ko jara thamiyai janab
Hum ek dehakta hua angar hai
Aap ager kareeb aai toh jal jaigai janab.-
Judai ka gum dil o dimag mai is kadar
Junoon e ishq ho chala ki dhadhakti jawala sulag rahi hai aaj bhi thandi angaro pe-
Hum to angaro se chalke aye the...
Hum to angaro se chalke aye the..
Aapse ishq ka ye rishta nibhane..
Aur aap to ak khoroch mey he dar gye....-
कितना दोहरा मन होता है लोगों का
बेटी स्वतंत्र और बहू बंधन में ही अच्छी लगती है-
स्त्री को यदि पुरुष का प्रेम हवस लगता है तो वह किसी नपुंसक से प्रेम क्यों नहीं कर लेती!.. और यदि पुरुष से इतना ही बैर है तो सर्वप्रथम अपने पिता को त्याग दीजिए, फिर भाई को... और रहिए अकेले अच्छे से अपना स्त्री समाज बनाकर...।।।
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सच्चाई के रास्ते पर चलना
अंगारो पे चलने का
समान होता है;
गैर लोग तोह क्या
अपने भी साथ छोड़ देते है।।
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हमें पता होता है सामने वाला झूठ बोल रहे है
फिर भी उसकी बातें मान लेते हैं, मोहब्बत है ना😔-