कितना लिखूं तेरे बारे में
कलम में स्याही तो भर जाने दो,
बेशक़ बयां होगा हर ज़ख्म
पर ज़रा, पुराने को तो सिल जाने दो।-
सांँसे भी रुकी हैं ये वक्त भी रुका है ,
गलती कुछ नहीं , सिर मोहब्बत में झुका है ।-
हाँ बदल जाऊंगा में
हर रिश्ता वक्त के साथ बदलता है
हाँ में भी बदल जाऊंगा
हाँ थोड़ा वक्त लगेगा पर सँभल जाऊंगा में-
कुछ देखने की इल्तिजा नहीं,
गुनाहो से यूँ वास्ता रहा हैं, मेरा
कि दर्द जो हैं, दस्तक पे दस्तक दिए बगैर
जाते नहीं, ख्वाबों से अब तो•••-
ये वक्त,
ये दौर,
ये समां,
नया है मेरी जान
यहाँ ज्यादा पास रहने से
बस दूरियाँ
बढ़ती है।-
जो बैठो कभी पास मेरे,
तो कभी पूछों हाल मेरे
यूँ बक्त भी गुजरेगा रुखसार में
पलों को भी अहसास हो,
जीने में साथ तेरे 💞💞
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अभी कहाँ देखीं है, उड़ान तुमने
मुट्ठी में होगा एक रोज, आसमान अपने
खाक छानी हैं जो मैंने, हिसाब होगा
उसका भी, किसी रोज़ तुमसे-
खुदा का शुक्र है जो नेक दिल बनाया मुझको,
बर्ना ख़ौफ में डूबे हुए होते, न जाने कितने चेहरे-