हम डरते कहाँ है किसी भी नेकी के परिणाम से,
हम झुकते कहाँ है किसी भी विपरीत अंजाम से।
हम तो राही है एकता, प्रेम व नेकी के मार्ग के,
आखिर हम भक्त हैं रघुपति राघव श्री राम के।-
7 DEC 2018 AT 9:22
28 MAY 2020 AT 12:50
राम जी की लीला तो अपरम पार है
उनके भक्तों की शक्ति भी अपार है ।।
🙏जय श्री राम🙏-
22 SEP 2021 AT 8:48
एक दिन की है अवधि फिर सुखद परिणाम होंगे।
राममय होगी अवध फिर अवध में राम होंगे।
यह अवधि बीती कि मानों युग सरीखा एक दिन।
क्या कहें हम हाल अपना, हम जिए थे राम बिन?
प्राण बिन हो देह जैसे या नदी बिन नीर हो।
लड़ रहा कोई धनुर्धर और बिन तूणीर हो।
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