QUOTES ON #ZAINAB

#zainab quotes

Trending | Latest
11 JAN 2018 AT 18:45

"Ab kyu chup hai we log"
Justice For Zainab
Full poetry ( in caption 👇 )
To watch this poetry please visit my YouTube channel ❤
Link is in the bio ☝

-


12 JAN 2018 AT 9:02

THe border divide us but the people are not different , as I have heard it many times , but this time i saw that the two countries have some people with same mind set and Yes , they have the same mind of being lustful , and they are doing the same. , Childrens are like flower for God, but some people trample them for their lust.
If we still do not wake up, then tomorrow it might happen with our children and we shall not be able to do anything.

-


21 JAN 2018 AT 20:56

जो बच्ची अभी चलना सीख रही है
वो साथ मे दुनिया के रंग भी देख रही है,
अब तो लोगो को भी कुछ शर्म नही बेरहमी की
क्योंकि जै़नब अब भी इन्साफ के लिए चीख रही है।

-


16 JUN 2018 AT 11:34

एक मासूम सी 7 साल की बच्ची को,
अपनी हवस का शिकार बनाया होगा।
ऐसा कदम उठाने से पहले,
ये ख्याल एक बार भी उनके दिमाग ना आया होगा।
कितना तड़पी होगी,
कितना चिल्लाई होगी,
दर्द से बेहाल,
किसी को मदत को जरूर बुलाई होगी।
मेरी तो सोचकर ही रूह कांप जाती है,
फिर क्या बीती होगी उन मां-बाप पर,
उनका दिल भी कितना घबराया होगा।
बस कसूर इतना था उसका,
कि वो एक लड़की थी,
इसलिए उन जानवरों ने ये कदम उठाया होगा।
हमेंशा से लड़कियों के रहन-सहन पर सवाल उठाये जाते है,
पर आज ये सवाल किसी के दिल में ना आया होगा।
क्या मिलता है मासूम से बच्चों पर अपनी मर्दानगी दिखाकर,
हर मां-बाप के दिल में ये प्रश्न आया होगा।
मार दिया जान से उस बच्ची को,
फिर से किसी के लिए जाल बिछाया होगा।
कुछ दिन तक ये न्यूज़ हर चेनल पर बरसेगी,
वापस यही केस दुबारा सामने आया होगा।

-


30 JUL 2020 AT 13:48

हम मुसलमां वफ़ा- ए- मुल्क शिद्दत से निभाते जाएंगे
तुम नागरिकता पूछते रहना, हम राफेल उड़ाते जाएंगे

ھم مسلماں وفا- اے- مُلک شدّت سي نبھاتے جاینگے
تم ناگریکتا پوچھتے رہنا ٫ ہم رافیل اڑاتے جاینگے

-


12 SEP 2020 AT 18:52

ख़ूबसूरत हो पहला सफर मदीने का,पाना इबरत चाहती हूं
हल्की न हो रंगत हिना की, उनके साथ ज़ियारत चाहती हूं

خوبصورت ہو پہلا سفر مدینے کا، پانا عبرت چا ہتی ہوں
ہلکی نا ہو رنگت ہنا کی، انکے ساتھ زیارت چا ہتی ہوں

-


5 AUG 2020 AT 20:48

सियासत दान, एक खेल रच गए
नाबीना हामी, ईमान ही बेच गए

जशन का माहौल,ज़मी तड़प रही
पाक घर नापाक साज़िश रच गए

जागीर हमारी हमसे छीन ले गए
ये मामला हवस ए मनसद रच गए

पंजे ने तोड़ा ताला कमल खिल गए
इंसाफी क़लम और बिक सच गए

इंसाफ होगा रुह ए ज़मी एक दिन
ज़ैनब लोग हक़ कहने से बच गए

-


29 JUL 2020 AT 15:57

वह हमें दीमक की तरह, ताउम्र चाटते रहे
हम नादां थे, सफार्इ अभियान समझते रहे

हम रात सुकून से सोते रहे, अपने घरों में
वो तो मुफलिस थे , बारिश में भीगते रहे

पक्के मकां की दीवारें, नफ़रत स बनी थीं
वो ख़ुशी से ज़िन्दगी,फुटपाथ पे गुज़ारते रहे

डर लग रहा था , ऊंचाइयां देख कर मुझे
हम मां के आंचल से सारी रात लिपटते रहे

हकीक़त पता चली थी,जब उन्हें महलों की
वो झोपडिय़ों को अपने, लबो से चूमते रहे

जाल बिछ गया था,अब सियासत का 'ज़ैनब'
हम अपने घरों में मकड़ी जाल साफ करते रहे




-


21 JAN 2018 AT 18:15

"Demons are treating Angels
even worst than a
Demon should be treated"

Why?

-


26 FEB 2020 AT 12:56

जब कोई ना हो साथ तब वो साथ निभाती हैं
वक़्त दर वक़्त मुझे बेहतर बनातीं हैं
मुश्किल दौर मे वो मुझे गोद मे सुलातीं हैं
मेरी दो साथिया मुझे खुद से ज़्यादा चाहती हैं

-