दो चेहरे वाले शख़्स से क्या आप मिले है...?
ये लोग चेहरों पे नकाब लिए फिरते
इनको नकाब की क्या ही ज़रूरत
ये अपने दिल फ़ितरते हज़ार लिए फिरते हैं
कहने को तो ये अपने ही रहते हैं
पर इनसे बेहतर तो अंजान ही रहते हैं
रहोगे सामने तो प्यार बेशुमार लिए फिरते हैं
पीठ पीछे ज़हर की पुड़िया हजार लिए फिरते हैं।-
हम लड़कियां हर किसी से अपनें
दिल की बात तो नहीं कर सकते
पर एक ही शख्श है वो.... माँ....
जिससे...
हम सब कुछ बयां भी कर सकतें है
और उससे हर प्रोब्लम का सॉल्यूशन भी
मिल जाता हैं और उससे बात करके
दुनियां भर का सुकून और खुशी भी मिल जाती है
लेकिन
हर किसी की किस्मत में नहीं जो
अपनी माँ....के साथ उसके बुढ़ापे तक
ज्यादा से ज्यादा समय बिता सके।-
آج کئی دنوں کے بعد ایسی
چٹپٹی صبحا کی شروعات ہوئی
ایک نہیں دو دو کپ چائے کے ساتھ ہوئی
یہ اور کسی کی نہیں صرف اور صرف
میرے اللّٰہ کی وجہ سے یہ سہانی برسات ہوئی--
آج کئی دنوں کے بعد ایسی
چٹپٹی صبحا کی شروعات ہوئی
ایک نہیں دو دو کپ چائے کے ساتھ ہوئی
یہ اور کسی کی نہیں صرف اور صرف
میرے اللّٰہ کی وجہ سے یہ سہانی برسات ہوئی--
उलझन को सुलझाने का रास्ता भी पता है
फिर भी वो न जाने क्यों
उसी में खुश रहना चाहती हैं।-
इंसान को बोलना उतना ही चाहिए......
जितना......
कि........
उसमें सुनने और सहन करने की छमता हो।-
दीन और दुनियां दोनों में तालमेल रखिए
न इल्म दुनियां का कम न दीन का कम रखिए
-
قرآن شریف کا پہلا ترجمہ ۱۱۵۰ ھجری میں
مولانا شاہ ولی اللہ دہلوی نے کیا --
दुनिया सिर्फ तुमको
तुम्हारे दिखावे से पहचानती है....
मगर अल्लाह
तुमको तुम्हारी नियत
और दिल से पहचानता है।-