Utkarsh Srivastava   (अभ्युदय)
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Kuch khas nahi...mast maula ,bindass , psychologist, jaourny lover......
Joined 25 July 2017


Kuch khas nahi...mast maula ,bindass , psychologist, jaourny lover......
Joined 25 July 2017
28 APR 2022 AT 23:57

These nights are not just silent
it's like our friend
Just support us
Even this silence
necessary for us,
that we can hear
the call of your conscience
your inner cries,
and feel
eye depth
to the hidden sea,
make some waves
with your eyes,
running in your mind
to hear the storm,
And maybe calm him down.
read the rising thoughts
take off responsibilities
and solve problems
These nights only happen because
quiet calm and relaxed
so that we can give tomorrow
A new direction to the rising sun...

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5 APR 2022 AT 13:54

अज्ञात सी सोच में
अज्ञात सी आवाज में
अज्ञान ही हूँ राह में
मैं में तो मेरा कुछ नहीं
अज्ञात ही हर अल्फ़ाज़ में।।

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30 JAN 2022 AT 23:34

आरंभ से अंत तक के
सफर में ,
अनेक रास्तें है,
कुछ विचलित करते हैं,
कुछ भ्रमित करते हैं,
कुछ सरल सीधे लगते हैं,
कहीं परिस्थितियाँ अनुकूल
कहीं विपरीत लगती हैं,
अनेक बाधाएँ भी मिलती हैं,
उनसे लड़ने का हौसला भी
मिलता हैं,
हाँ, शून्य से शून्य तक के
सफर में,
अनेक संख्याएँ होती हैं... — % &

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19 NOV 2021 AT 11:31

उसकी नफरत को भी सिर-आंखों से लगया था मैंने
और उससे सही हमारी एक बात तक ना गई।

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21 SEP 2021 AT 0:46

मौके की तलाश में थे लोग
मुझपे तौहमते लगाने के
वो तो लोग थे न
आप तो खास थे
समझ न पाए चालबाजियां ।।

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21 SEP 2021 AT 0:42

दूरियाँ कुछ इस कदर बढ़ी की
वो झूठ को हक़ीक़त मान बैठे
हमारी सब बातें झूठी और
सभी की बात सच मान बैठे ।

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1 JUL 2021 AT 0:32

शून्य से
आरम्भ करना,
अब कठिन होगा,
फिर से एक नया
कदम बढ़ाना
फिर से ढालना
स्वयं को
एक नये परिवेश में,
एक नए राह पर चलना
खुद को तलाशना
अब कठिन होगा
हाँ! शून्य से प्रारंभ
अब कठिन होगा....

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13 MAY 2021 AT 22:57

मै जिंदगी की राह में अकेला रह गया,
मौत भी आई तो छू के निकल गयी
ले जाती साथ तो आजाद होता मैं।।
चलो अलविदा तो कह गए सब
अब अकेले हो तुम खोजो खुद को
उन यादों में उन बातों में
जो कही थी तुमने दुनिया से
एक हम अकेले एक चाँद अकेला
फलक पर दोनों रौशनी लुटाएँगे।।

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7 FEB 2021 AT 18:05

जब आदमी प्रयासों से हार जाता है,
टूट कर वो बस शांत हो जाता है।।।

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17 JAN 2021 AT 21:40

कभी कभी वक़्त के साथ सब ठीक नहीं,
सब खत्म हो जाता है।

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