16 DEC 2019 AT 22:19

शर्मिंदगी है हमको बहुत, हम मिले तुम्हें,
तुम सर-व-सर खुशी थे मगर गम मिले तुम्हें,
मैं भी किसी पलक न मिला अपने आप में,
मुझे ये दुख है,तुम भी बहुत कम मिले तुम्हें,
तुमको जहाँन-ए-शौको तमन्ना में क्या मिला,
हम भी मिले तो गैरजिम्मेदार मिले तुम्हें,
तुमने हमारे दिल में बहुत दिन सफर किया,
शर्मिंदा हैं उसमें भी बहुत मोड़ मिले तुम्हें।।

- *Umesh Maurya*