एक नदी
सबसे अधिक दूर तक बही
आंखों से निकली
होठों तक गई।-
Personal Instagram:- @km_ujjwal
Author of Book "अजनबी सा इश्... read more
तुझे ना चाहने की चाहत कर लिया है
तुम्हारी याद ना आए अदावत कर लिया है
तुम्हें पसंद नहीं थी लफ़्ज़ ए सदाकत मेरी
दिल ने जबान से बगावत कर लिया है-
हे ईश्वर के वरदान तुम्हें नमन है
हे भारत के अभिमान तुम्हें नमन है
सिंचित हुआ है तिरंगा रक्त से तुम्हारे
हुए राष्ट्र हेतु बलिदान तुम्हें नमन है
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इतना आसान नहीं है... मुझे पढ़ना
हल्की स्याही से लिखी हुई... गहरी किताब हूँ मैं।।-
मन की अलकनन्दा में मेरे स्वप्न नहा कर पवित्र हुए और मूँद लिया तुम्हारी छवि को अपनी पलकों में….
तुम्हे स्वप्न में भी देखने से पहले मैनें अनेको बार मन की गंगा में स्नान किया है…
मन ही वो जगह है जहां होती है आत्मशुद्धि, और
देव दर्शन के लिए आत्मशुद्धि जरूरी है…-
जब जीने की इच्छा दफ़न हो जाती है,
ज़िंदगी इक ज़िंदा कफ़न हो जाती है।
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वो मुस्कुराए तो बात बने
थोड़ा सा शर्माएं तो बात बने
मैं भी कह दूं अपने दिल की बात
पर बातें लबों पर आए तो बात बने-
अभी-अभी एहसास हुआ जीवन जीवन बोता है,
खुद को शून्य बनाना भी कितना विराट होता है।
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रटे राधा कन्हैया को कन्हैया भी रटे राधे
प्रेम की राह पर दोनों चले अपने कदम साधे
सघन दोनों ने दोनों का किया दिन-रात आराधना
बनी राधा कन्हैया और कन्हैया बन गए राधे....
🙏 श्री राधे राधे 🙏-
तुमने नाराज़ होना ही छोड़ दिया
इतनी भी नाराज़गी ठीक नहीं है-