तू इस तरह से मुझे छोड़ कर गया
कि दर्द ए दिल को फिर कभी सुकूँ न मिला-
I'm not a Professional Writer, I'm Learner�... read more
मोहब्बत नहीं तो झगड़ा ही कीजिये
झगड़ा नहीं तो मोहब्बत ही कीजिये
ये आप पर है मगर कुछ जो कीजिये
अजी दोनों ही चाहिए तो निकाह कीजिये-
मैं तुम लिखूँ तुम मेरा आप समझ लेना
मैं अल्फ़ाज़ लिखूँ तुम बस जज़्बात समझ लेना
ज़ियादा कुछ तो नहीं बस इतना ही चाहिए मुझे
मैं इश्क़ लिखूँ तुम बस रूह-दाद समझ लेना-
होगा तेरा दीदार ये हसरत लिये बैठे हैं
तेरे साये में गुज़रे ज़िन्दगी ये चाहत लिये बैठे हैं
ये तो तुझसे मोहब्बत का वसीला है मेरे मौला
जो हम हर पन्ने पे मोहम्मदﷺ लिखे बैठे हैं-
उस ख़्वाब की ताबीर में है तू जो तुझे जानता नहीं
मुकम्मल हो ताबीर तो उसे अपना बना लेना...
वरना हम आज भी तेरे इंतेज़ार में हैं
इस यक़ीन पर कदम वापसी के बढ़ा लेना...-
दो दिलों के साथ धड़कनें भी मिल गई थीं
अब हम तुम अलग कहाँ एक हो गयें थे
वो भी क्या मंज़र था तेरे हाथ में मेरे हाथ था
और तभी मस्ज़िदों में अज़ान हो गयें थे
शायद ये रज़ा थी जो हम मिल तो गयें
मगर मिल कर भी हम जुदा हो गयें थे-
उसकी तस्वीर दिल में छुपा रखा है
उसका नाम लबों पे सजा रखा है
कभी न मिल पाना ही मोहब्बत है
इसी लिये शायद मोहब्बत का नाम दुआ रखा है-
मात-पिता ने बेटा तो पत्नी ने सिंदूर गवा दिया
भारत तेरे लिये ही उसने अपना सीस कटा दिया
बार बार कि गद्दारी को भारत क्यूँ सह जाता है
ज्यादा संयम दुनिया में तो कायरता कहलाता है
एक बार जवाब खुद सेना को दे लेने दो
एक सीस का जवाब दस सीस से ले लेने दो
नेताओं ने मज़हब के नाम का महल जो सजाया है
इसी के दम पर उसने अपनी कुर्सी को जो पाया है
नेताओं ने सरहदों पर ऐसा चमन खिलाया है
अपने ही लोगों को हिन्दू-मुस्लिम के नाम पर लड़ाया है
भारत वालों गद्दारों को बाहर खोजना बन्द करो
कश्मीर को दान करो या गद्दारों से जंग करो-
Hum Sab Ka Bigda Waqt Sawaar De
Humari Zindagi Ko Ek Nya Mukaam De
Apni Ek Nigaah-E-Karam Hum Par Kar De
Mere Khawaja Hum Sab Ko Apni Rahmaton Se Nawaz De-
Meri Neeidon Ke Khawabon Me
Tumhara Khawab Aayega...
Main Aankhen Band Kar Loon Tab Bhi Yahi ilzaam Aayega...
Har Ek Dhadkan Me Jab Tum Ho
To Fir Kasoor Kya Mera...
Ki Jab Radha Pukaregi
Tab Ghanshyam Aayega...-