एहसास मेरी रूह की गहराईयों में है,
पाबन्द-ए-वफा हूँ ,ये सफाई नही दूगाँ!
साये की तरह साथ रहूँगा तुम्हारे,
ये बात अलग है, के दिखाई नही दूगाँ!!-
खाने को तो जह़र भी खाया जा सकता है,
लेकिन उसको फिर समझाया जा सकता है !
और मैनें कैसे-कैसे सदमें झेल लिए हैं,
इसका मतलब जह़र पचाया जा सकता है!!-
हमेशा बनते बनते बात बिगड़ती है, अकड़ने से
किसी को कुछ़ नहीं मिलता लड़ने से झगड़ने से
अगर दो लोग लड़ते है तो एक इंसान मरता है
मगर इंसानियत मरती है दो कौमों के लड़ने से !-
तुम्हारा घर हमेशा रोशनी से जगमगाऊगाँ,
दीये खामोश हो जाये, तो अपना दिल जलाऊगाँ,
तुम्हें जिस दिन यकीन हो जाये, मुझमें खुबियाँ भी है,
मुझे आवाज़ देना में वापस लौट आऊगाँ...-
उलझा हूँ जिंदगी में,
इस कदर फिर भी लोग,
जख़्म पर जख़्म देना नही भूल रहे..-
परिंदो की उडानों को अभी तो जाम होने दो,
अभी तो सूरज नहीं डूबा अभी तो शाम होने दो,
मुझें बदनाम करने का बहाना ढूँढ़ने क्यो हो,
मैं खुद हो जाउगाँ बदनाम पहले नाम तो होने दो!-
मेरें हालात वो नहीं,
जो सबको दिखते हैं.😊
मेरें हालात तो वो है,
जो किसी को नही दिखते..😈-
शब्द और सोच दूरियाँ
बढा़ देती हैं
कयूँकि कभी हम समझ
नहीं पाते
और कभी समझा
नहीं पाते..-
तेरा यूँ रूठना भी हमे, अच्छा लगता है!
कम से कम तेरा साथ जो रहता है!!-