हमने बहते हुए आँसू दिखाये थे उन्हें,
वो बोले 'हमें क्या, बहते हैं तो बहने दो...'
फ़िर एक दिन रिश्ता जोड़ने चले आये वो,
जवाब..?, 'अजी सुनती हो, रहने दो'....-
यूँ बेवजह ही खामोश नहीं हैं हम,
एक हादसा ऐसा भी है ज़िन्दगी का
जिसमे हमने अपनी आवाज़ ही खो दी....-
लोग पूछते हैं मेरे चेहरे पर ये मुस्कान कैसी है,
हमे सुनाई देता है, हमारी प्यारी जान कैसी है...-
सुनो,
अब लौट कर मत आना
वो महराज अब मर चुका है
जो तुम पर मरता था....-
भरी महफ़िल में हम सबको यही ज़ताते रहे,
कहीं कोई पूँछ ना ले तेरे जाने का ग़म,
इसलिए हर वक़्त हम बस खुश नज़र आते रहे...-
वो कुछ इस तरह से गुमनाम हुआ ज़िन्दगी से मेरी
मानों कभी पहले मिले ही ना हों....-
शुक्रगुज़ार हैं हम उस तकिए के
जिसने रातों रात बिना किसी को भनक करवाए
मेरे सारे दर्द को खुद में समेट लिया.....-
रात को वो मेरे सपनों में आई थी,
मोहब्बत का इज़हार भी किया उसने,
और जाते जाते बोल गयी,
''ये सिर्फ़ ख्वाब है,
जब आंख खुले तो ख्याल रखना अपना...''-
वो 'जी' लगाकर मुझे कोई अब बुलाता ही नहीं,
चौंक जाता हूँ सुनकर अब खुद का नाम,
तेरी तरह अब मुझको कोई पुकारता ही नहीं...-
ज़रा सी बात थी
और वो रूठ गया,
छन्न से आवाज़ आई
देखा तो दिल टूट गया....-