*_Sab badal jaye thik h per jab bst frnds badalte hn na to taqlif hoti h😒😒
*_Kisi se bhi baat na ho chalega per jab bst frnd duriya bna le na to taqlif hoti h😟😟
*_Her pal her waqt ek dusre ko call pe msgs pe preshan krte the jab wo na kare na to taqlif hoti h😔😔
*_Wo jo kahte the ki teri jagah koi aur ni le skta aur wahi kisi aur ko aapki jagah de de na to taqlif hoti h😕😢😕-
लोग पूछेंगे क्यूँ उदास हो तुम
और जो दिल में आए सो कहियो!
'यूँही माहौल की गिरानी है'
'दिन ख़िज़ाँ के ज़रा उदास से हैं'
कितने बोझल हैं शाम के साए
उन की बाबत ख़मोश ही रहियो
नाम उन का न दरमियाँ आए
नाम उन का न दरमियाँ आए
उन की बाबत ख़मोश ही रहियो
'कितने बोझल हैं शाम के साए'
'दिन ख़िज़ाँ के ज़रा उदास से हैं'
'यूँही माहौल की गिरानी है'
और जो दिल में आए सौ कहियो!
लोग पूछेंगे क्यूँ उदास हो तुम?
- इब्ने इंशा-
तुझे शब्दों में लिखना आसान नहीं,
तू मेरा हिस्सा है दास्तान नहीं!!-
दुनिया का सारा खसारा एक तरफ,,
और
बिना चाय के दिन का गुजा़रा एक तरफ!!-
As long as I'm writing,
My feelings are being expressed through my words,
The words can heal your heart,
As long as you feel your words.-
हालातों से वाकिफ, सादी सी मैं लड़की,
खुद के अहम होने के वहम नहीं पालती!-
फ़र्ज़ करो ये जी की बिपता जी से जोड़ सुनाई हो
फ़र्ज़ करो अभी और हो इतनी आधी हम ने छुपाई हो
फ़र्ज़ करो तुम्हें ख़ुश करने के ढूँढे हम ने बहाने हों
फ़र्ज़ करो ये नैन तुम्हारे सच-मुच के मय-ख़ाने हों
फ़र्ज़ करो ये रोग हो झूटा झूटी पीत हमारी हो
फ़र्ज़ करो इस पीत के रोग में साँस भी हम पर भारी हो
फ़र्ज़ करो ये जोग बजोग का हम ने ढोंग रचाया हो
फ़र्ज़ करो बस यही हक़ीक़त बाक़ी सब कुछ माया हो
- इब्ने इंशा-
किसे समझें अपना किसे गैर कहें,,
हर उम्मीद पे धोखा खुदा खैर करे!!-