QUOTES ON #JAYBARANWAL

#jaybaranwal quotes

Trending | Latest
4 DEC 2020 AT 15:43

Please dont like my quote
to advertise yourself.
I know I am not as good as you,
still I have my uniqueness,
like you have.
So please respect that.
Respect yourself.
I follow everyone who follows me.
And unfollow everyone
who unfollows me.

धन्यवाद 🙏🙏

-


11 JUL 2021 AT 22:55

वो एक बात जो तुम्हें
मुझसे अलग करती हैं
जबतक हैं
संग होते हुए भी
हमें दूर ही रखेगी
काश हमने
उसे अलग किया होता

-


28 MAY 2021 AT 11:56

जिन्हें इतिहास से
मिटाने का प्रयास होता हैं
उनसे जुड़ाव और भी
घनिष्ठ हो जाता हैं

-


12 JUL 2021 AT 23:15

विश्वास था तुम आओगें
और इस प्रकार मैं
अकेला ही रह गया

-


5 JUL 2021 AT 21:01

जब धूप चिलचिलाती थी
चेहरे को जलाती थी
तब दूर लगे वृक्ष
उसकी छाया की कल्पना
सारी थकान मिटा देती थी
किंतु इस भौतिक युग में
ये तो मृगमरिचिका जैसी भी
नहीं रही
कमसे कम रेगिस्तान में
दिख तो जाती थी
छद्म रूप ही सही

-


3 AUG 2021 AT 22:40

कभी अपनों के पास
रो कर देखना
उससे लिपट कर देखना
मन की बात
बता कर देखना
उसे और भी समीप पाओंगे

-


2 AUG 2021 AT 23:34

बात जब भी सोने की होती हैं
खोने की अवश्य होती हैं
संभवतः इसलिए
रात्रि काली होती हैं
एकान्त वाली होती हैं
और कलंकित भी होती हैं

-


19 JUN 2021 AT 8:11

जब देश पिछड़ा था
जब देश में इसकी कोई व्यवस्था नहीं थी
जब लोगों ने इसकी कल्पना नहीं की थी
जब इसके लिए अलग से धन भी नहीं था
तब इन्होंने इसके स्वप्न देखे
इसे पूरा किया और बताया,
परिस्थिति मात्र छलावा हैं
आगे बढ़ने की बाधा हैं
हां परिश्रम अधिक करना पड़ेगा
किन्तु परिणाम सुखद होगा
पुरस्कार अनंत होगा
धन से ऊपर
समय से परे

-


25 MAY 2021 AT 19:57

ऐसा क्या हैं जो उन्हें पूर्वानुमान मिल जाता हैं
इस महामारी से बचाव हो जाता हैं
कोई दिव्य शक्ति या कोई विशेषज्ञ
जिसे ज्ञात होता हैं कि अब बस ये लहर समाप्त
अब जो इच्छा हैं कर लो, आंदोलन कर लो
एक स्थान पर सम्मिलित हो जाओ
बाकि जब तीसरी लहर आएगी
तब तो सरकार को घेर ही लेंगे
ज्ञात नहीं क्यों पर इस सरकार पर दया आती हैं
ऐसे विशेषज्ञ और दिव्यशक्ति से ओत प्रोत
महापुरुष जो नहीं हैं
यदि ऐसे महापुरुष सरकारों के पास होती
तो आज देश पुनः लॉकडॉउन से मुक्त होता
चलो कोई बात नहीं
अब चुकी संकेत मिल चुके हैं इस लहर की समाप्ति के
तो अविलंब लॉकडाउन बंद कर दे
और नागरिकों से अनुरोध हैं
वो निर्भय हो कर किसान आंदोलन को विजय बनाए
लाखों की संख्या में जाए

-


24 MAY 2021 AT 11:25

छोड़े हुए समय में जाकर
उसे पाना संभव नहीं
ये जानते हुए भी
उसके संग जीने का प्रयास
और मिली प्रसन्नता
आपको ठोस नहीं
अपितु आपके वर्तमान को
और भी कठिन बनाती हैं
जबकि जीने का अर्थ
वर्तमान परिस्थिति हैं
छोड़ा हुआ समय नहीं
और यही वास्तविक हैं

-