दौलत जरूरी है गर कोई
रिश्ता निभाना हो गरीब
वरना लोग ऐसे मिलेंगे कई
रिश्ता बनाकर तोड़ेंगे करीब
© सुहैल अनवर-
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अभी दौर -ए- हुकुमत है
तो बना फिरता है साहेब
जब ना होंगे तख्त -ओ- ताज
बुलंद उसके तो कहाँ जायेगा
ابھی دور - ے - ھقمت ہے
تو بنا فرتا ہے صاحب
جب نہ ہونگے تخت - و - تاج
بلند اسکے تو کہاں جاےگا
© सुहैल अनवर
© سہیل انور-
बहोत मुश्किल था सफ़र अकेले
जो सदियों से काट रहा हूं मैं
बहोत मुकाबिल थे मगर अकेले
वो दुश्मनों से लड़ रहा हूं मैं
بھوت مشکل تھا سفر اکیلے
جو صدیوں سے کاٹ رہا ہوں میں
بھوت مکابل تھے مگر اکیلے
وو دسمانوں سے لاد رہا ہوں میں
© सुहैल अनवर
© سہیل انور-
´ 12वीं रबी उल अव्वल `
• सल्लल्लाहु अलैहि वसल्लम •
बन्दे यह दुनिया नूर ए रसूल है
बन्दे यही तो अल्लाह का नूर है
© सुहैल अनवर
` 12 ربي أل أول ´
• صلی اللہ علیہ وسلم •
بندے یہ دنیا نورِ رسول ہے-
بندے یہی تو اللہ کا نور ہے-
© سہیل انور-
तक़दीर बदलते हुये वक़्त लगता नहीं कोई
हाथ पे हाथ धरने से सफल होता नहीं कोई
© सुहैल अनवर-
हर बात को हंस के टाल देता हूं
वोह समझता है हार बैठा हूं
© सुहैल अनवर— % &-
रमज़ान की आमद
अल्लाह अल्लाह
इंसान मुकम्मल
वल्लाह वल्लाह
© सुहैल अनवर— % &-
शे'अर कहने का फ़न रखते है हम
मगर डायरी में छुपा रखते है हम
शे'अर कहने का मन रखते है हम
मगर शायरी में ज़ुबां रखते है हम
© सुहैल अनवर— % &-
आना मैं चाहता हूं सफ़र किये वगैर
जाना मैं चाहता हूं मुसाफिर हुये वगैर
© सुहैल अनवर— % &-
भीड़ तो लगेगी आखिर हर तरफ
राशन जो मुल्क में कम पड़ रहा है
यकीनन मन्दी सी छा गयी है हर तरफ
मजदूर जो बेहिस घर में लाचार पड़ रहा है
Bheedh To Lagegi Aakhir Har Taraf
Ration Jo Mulq Me Kam Pad Raha Hai
Yakinan Mandi Si Chha Gayi Hai Har Taraf
Majdoor Jo Behis Ghar Me Lachaar Pad Raha Hai
© सुहैल अनवर-