ईश्वर...सुख में हंसते चहरों से ज़्यादा,दुःख से बिलखती आत्माओं मेंरहता है..... -
ईश्वर...सुख में हंसते चहरों से ज़्यादा,दुःख से बिलखती आत्माओं मेंरहता है.....
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दुःख बार बार लौटते हैंएक ही ध्येय के साथ,ताकि इंसान जीवन की महत्ता पर विचार करता रहे। -
दुःख बार बार लौटते हैंएक ही ध्येय के साथ,ताकि इंसान जीवन की महत्ता पर विचार करता रहे।
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असंख्य अनकही समेटेजब फूट रहा होता हैभीतर गहरा बैठा मौन,चुप्पियां कर रहीहोती हैं शोर;तब कविता केनए बीज अंकुरितहो रहे होते हैं..। -
असंख्य अनकही समेटेजब फूट रहा होता हैभीतर गहरा बैठा मौन,चुप्पियां कर रहीहोती हैं शोर;तब कविता केनए बीज अंकुरितहो रहे होते हैं..।
पूजा करना,इबादत करना आज के दौर में;भगवान से भीख मांगने कासभ्य और सर्वमान्य तरीका है!! -
पूजा करना,इबादत करना आज के दौर में;भगवान से भीख मांगने कासभ्य और सर्वमान्य तरीका है!!
कुछ घटनाएं जीवन में इस तरह से घटितहोती हैंजिन पर विज्ञान, तर्क, तथ्य सब मौन रहते हैं,तुम्हारी स्मृतियों के कारण मेरे समय का ठहर जाना भी उन घटनाओं में से एक है..! -
कुछ घटनाएं जीवन में इस तरह से घटितहोती हैंजिन पर विज्ञान, तर्क, तथ्य सब मौन रहते हैं,तुम्हारी स्मृतियों के कारण मेरे समय का ठहर जाना भी उन घटनाओं में से एक है..!
दागे जाएंगे जितनेगोले और मिसाइलेंअंकुरित होगें उतने हीबर्बरता के बीज,उन बीजों से पैदा होगी नस्लें, जिन्हें लगाव होगासिर्फ हथियारों से;और विस्मृत कर दिए जाएंगे खिलौने..! -
दागे जाएंगे जितनेगोले और मिसाइलेंअंकुरित होगें उतने हीबर्बरता के बीज,उन बीजों से पैदा होगी नस्लें, जिन्हें लगाव होगासिर्फ हथियारों से;और विस्मृत कर दिए जाएंगे खिलौने..!
लड़कियां पीपल सी होतीवे अनायास ही उग आती हैं,दीवारों में,पत्थरों में और हो जाती है उनसे भी कठोर,कोमल और कठोर की दुर्लभ संहितालड़कियां पीपल सी होती हैं.. -
लड़कियां पीपल सी होतीवे अनायास ही उग आती हैं,दीवारों में,पत्थरों में और हो जाती है उनसे भी कठोर,कोमल और कठोर की दुर्लभ संहितालड़कियां पीपल सी होती हैं..
बेशक धूल है चारों तरफचेहरे और दिल साफ़ नज़र आते हैं।सड़कें कच्ची है मेरे गांव मेंपर रिश्तों में ठीक इससे उल्टा है।गला काटने कि जरूरत नहीं यहांपेट भरने के लिए फ़सल का कटना काफी है।हैसियत जेब से नहींजेब के पीछे कुछ धड़कता है, से तय होती है। -
बेशक धूल है चारों तरफचेहरे और दिल साफ़ नज़र आते हैं।सड़कें कच्ची है मेरे गांव मेंपर रिश्तों में ठीक इससे उल्टा है।गला काटने कि जरूरत नहीं यहांपेट भरने के लिए फ़सल का कटना काफी है।हैसियत जेब से नहींजेब के पीछे कुछ धड़कता है, से तय होती है।
तमाम सभ्य देश बैठेऔर फैसला हुआ;शांति स्थापित करनेके लिए भेजे जाएंगेऔर हथियार..!! -
तमाम सभ्य देश बैठेऔर फैसला हुआ;शांति स्थापित करनेके लिए भेजे जाएंगेऔर हथियार..!!