Sudarshan HRD  
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Joined 14 April 2021


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Joined 14 April 2021
8 HOURS AGO

माधव..
चल रे मनवा राह कुँजगली प्रितम, जहा बिराजै कुंजबिहारी जू,
चल कर रे सखी दिव्यत्म श्रृंगार पिया मनमीत मिलन ऋत आई,
हे गोविंद..
चित्तधरो ऐसो की चित्तचोर प्रितम श्याम मिलन उत्सव हो जाए,
मन रथपालकी ना भटके राह जो बढ़ाये कदम डगर पिया प्रितम मिलन.. ले लो अपनी शरणनन श्यामाजू श्यामबिहारी, ना अब बिसराओ मोरे प्राणनाथ मनमीत साँवरे सरकार..✍🏼🐦

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8 HOURS AGO

हंसा..🦢
प्रभु जी मोरी क्या बिगड़ेगी लाज जाएगी आपकी,
चित्त जो भटके तो जाएगी आपकी प्रभु जी,
प्रभुजी जो रहते आपके चित्त छाया अंधियारा,
तो क्या बिगड़ेगा हमारा, जाएगी तो आपकी,
जब आप ही बसते चित्त तो फिर कैसी बेरुखी,
कैसा है ये अंधियारा, चित्त करो दीप प्रज्वलित,
देखो देर ना हो जाये, हम भटक जाये भवँर जी,
कुछ तो करो जतन मोरे साहिब ठाकुरजी,
अधिकारी हूँ आपसे विनती का हो मनमीत,
ना समझो आप बच जावोगें जो भटके भवँर
आप देखते सब जन को बन राजाधिराज,
आप कहलाते भक्तवत्सल तो देर किस बात की,
ना बनो इतने भी नटखट निर्मोही अनजान साहिब,
रहते मनमीत तो क्यों लेते हो परीक्षा घड़ी घड़ी,
आप करुणेश्वर करुणानिधान दाता दयाल,
आप पालनहार आप ही खेवनहार साँवरे,
प्रभुजी मोरी क्या बिगड़ेगी, लाज जाएगी आपकी,
चित्त पाए कष्ट वेदना तो जाएगी आपकी प्रभुजी,
रहते आपके जो छाया अंधियारा जाएगी आपकी..✍🏼🐦

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10 HOURS AGO

मनवा..
कर ले सुमिरण कर ले चित्त श्रीचरनन,
रस सरस सुकूँ भर जाएगी जिंदगी मनवा,
एक नाम अनमोल धरोहर बढ़ाते जा रे,
नाम रटे जा सब बाधा होगी दूर तेरी मनवा,
तेरा हो जाए बेड़ा पार रे मनवा,
सुमिर ले जय जय बजरंगबली सुमिर ले,
श्रीबजरंग बाला बल जग में विख्यात ,
संकट मोचन नाथ, करो कृपा हे नाथ,
आप कृपा निधान एक नाम मनवा,
काम क्रोध मद लोभ निवारो, मोरे नाथ,
नाथ छोड़ विरोध संत जना संगत दो नाथ,
श्री राम जय राम जय जय श्रीराम जय जय,
विघ्न हरन श्री हनुमान संकट मोचन नाथ,
कृपा निधान श्री सीताराम सीताराम राम,
श्रीसीताराम सीताराम सीताराम सीताराम..
✍🏼🐦

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21 HOURS AGO

हे हमराही, कैसा गिला कैसा शिकवा..
कैसी शिकायत कैसी ख़ला से हमनवा..
ए दिल, इक़ दिन कुछ यूं..
शायद कुछ लम्हों में तुम याद करोगे..
मेरी दीवानगी को कुछ यूं..
मेरा साधारण सा चेहरा..
हल्की सी हंसी तेरी यादों में..
बेतहाशा फिक्र बात बात में जिक्र..
बेमतलब की बेइंतहा लड़ाई..
बेमतलब की अल्हड़ सी बातें..
बेमतलब के अनगिनत संदेश..
बेमतलब बात बात पर इम्तिहान लेना..
और हां.. शायद कभी मुझे भी..
जिंदगी में वो ख़ला है कि ईजाद कुछ करूँ..
✍🏼🐦

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22 HOURS AGO

मनवा..
क्या छुप छुप करता है मन की,
मन की तेरे मनमर्जी की मनवा,
मन तेरा खोजता है मुस्कुराहट,
मन से सदा मुस्कुराता वही है,
है जिसको इल्म भरे जहान में,
बिना धैर्य संघर्ष के विजय पथ,
हरगिज प्राप्त नहीं होता है मनवा,
कोई भी समस्या रोने से हल नहीं होती,
मन को रख सदा बुलंदियों पर मनवा,
क्यों होता है खिन्न, क्यों पाले खिन्नता,
ना बोल कटु वचन, ना बोल बुरे शब्द,
मन जो हैं व्यथित दर्द पीड़ा में मनवा,
मन को बदलने के मौके बहुत मिलगे,
शब्दों को बदलने के मौके फिर न मिलें..
✍🏼🐦

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YESTERDAY AT 11:15

चाय पर चर्चा..✍🏼🐦
कभी फुर्सत मिले तो खुद से..
एक दिन एकांत में बैठ कर..
खुद से फुर्सत में चर्चा करना..
एक सवाल जरूर पूछना..
कि..
क्या वास्तव में..
जिंदगी अपने मुताबिक जी रहे हो..
या काट रहे हो..
या कुछ यूं कहो कि कट रही है..

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YESTERDAY AT 10:47

हे हमराही, उल्फ़त के तूफानों के दीवाने जो हुए हम माहीं,
ए दिल, रफ्ता रफ्ता सुधि बुद्धि सब गवाई, तन सोधी रही नहीं..✍🏼🐦

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YESTERDAY AT 10:35

हंसा..🦢
श्री सतगुरू राह ऐसी दिखाए हैं,
चित्त ना माने कोई बैरभाव रे हंसा,
हिय ना बसे कोई भेदभाव रे हंसा,
साहिब तेरा मनमंदिर कुँज बसा है,
ना कोई घृणित ना कोई प्रितम जी,
ना कोई दीनहीन निर्धनता में रे हंसा,
ना कोई अमीरी में धनवान रे हंसा,
श्री सतगुरू राह दिखावै बण हमसफ़र,
जै सुख चाहे है राह उसी चल रे हंसा,
जो सुमिरण करे भावतरंग साहिब जी,
छूट सब बंधन होय प्यारो श्री करतार,
जो ध्याऊँ सो ही पाऊँ साहिब प्रेमकृपा,
श्री सतगुरू बता दियो तोहे पुँज मार्ग,
जै रामनाम श्रीहरि सुमिरण करे जी,
वोही प्यारो श्रीहरि होयजाय रे हंसा..
✍🏼🐦

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YESTERDAY AT 7:37

माधव..
हंसा भटके इस ताल से उस तलइया, अब तो सुध लो गिरधर,
नही काबिल श्रीचरनन, पर आप हो दातादयाल करुणानिधान,
हे गोविंद..
पूछ लिया करो कभी ख़ैर हमजन की भी,बन राजाधिराज नाथ,
आपकी अदालत तो है अपरंपार खेवनहार, आप हो न्यायपति बड़ी अदालत के हे राजाधिराज द्वारका रा नाथ, हम उतने भी अपराधी नहीं इतना ना बिसराओ हमें साँवरे सरकार..✍🏼🐦

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YESTERDAY AT 7:17

माधव..
सरकार से प्रेम हमें ऐसे ही नही हो गया, प्रेमकृपा प्यारी,
व्योम रचना हमें श्रीचरणों पर कर रही मोहित हे मोहीश्वर,
हे गोविंद..
कैसी है प्रेमकृपा, प्रेम खुद-ब-खुद यू खूबसूरत नहीं होता,
प्रेमकृपा निभाने वाले ही उसे बना देते खूबसूरत सांवरिया सेठ.. पूछ लिया करो कभी ख़ैर हमारी भी, हम राह निहार रहे सरकार आपकी, चित्तधरो मोरे साँवरे सरकार..✍🏼🐦

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