मैं तुमको भूल जाऊं
ये दिल कहां से लाऊं।
ये दिल है दिल में क्या है
कैसे तुझे बताऊं।।-
कहीं भी कोई भी अपना नहीं इस जमाने में,
ना इस आशियाने के बाहर, ना आशियाने में-
पतझड़ भी हो तो हरा मौसम कर दे,
तू हंस, तू मुस्कुरा और रोना कम कर दे।
मुश्किलें आए भी तो सबक सीखा उनको,
तू जिंदा है, तो जिंदगी के नाक में दम कर दे।।-
तू नहीं, कोई और सही।
कोई और नहीं तो कोई और सही ।
बहुत लंबी है जमीन मिलेंगे लाखों हसीन,
इस जमाने में सनम तू अकेली तो नहीं ।।-
हार गया जो हिम्मत साथी,
जीती बाजी हार गया ।
साहस करके कूद गया जो,
वह सागर के पार गया ।।-
बार-बार उठ कर गिरता है
उठकर कदम बढ़ाता है।
मंजिल की छाती पर जो अरा,
वही वीर लहराता है।।-
चला जाऊंगा छोड़कर,
जब इस आशियाने को।
वफाएं तब याद आएगी,
मेरी इस जमाने को।।-
मैंने डर को डरते देखा है,
मैंने मौत को मरते देखा है।
दिल में उम्मीद रखना दोस्तों,
मैंने अंधो को भी पढ़ते देखा है।।
- एक बेरोजगार-