Nowadays, relationships often like
ammensalism.-
किस तरह छोड़ दूं मैं तुम्हे,
जिंदगी का हिस्सा हो तुम,
दास्तान भी खत्म होने वाली है,
आख़री मोहब्बत हो तुम।-
आज थोड़ा प्यार जाता दूं क्या
तुम मेरे हो सबको बता दूं क्या।
तेरा हाँथ जो पकड़लू मैं
उफ्फ! अपनी जान गंवा दूं क्या।
मेरा दिल बहुत उदास सा है
तुझे अपने दिल में बसा लूं क्या।
तुझे लिखने में दिन बीत गए
सोचने में ये रात भी बिता दूं क्या।
तुझ पे ये ज़िंदगी मुकम्मल की है
कहो तो अपनी डायरी दिखा दूं क्या।-
प्यार है तो कहते क्यों नहीं,
और अगर तुम मेरे हो तो मेरे होते क्यों नहीं?-
and I fall in love with you
again and again.
You are the one I love,
the one makes me smile,
the one makes me forget my pain,
the one I need,
the one I meant to be with.-
Sometimes we forget
that things are meant to be used only,
not to be loved,
and human beings are meant to be loved,
not to be used.-
मुसाफिर दिल को किनारा चाहिए,
तुमसे प्यार करने का हक़ मुझे दुबारा चाहिए।-