दिन भर की सारी थकन तेरे कांधे सर रख उतारना चाहती हूं
क्या इजाज़त है मुझे तेरे सीने से लग कर बिखरना चाहती हूं!-
Khayal-e-sheenam
चाॅंद से आरज़ू है ज़मीन से देखने का हक़ तो दे,
शौक़ से उसके माथे सजे मुझे कुछ चमक तो दे।-
बैचैन दिल है तेरे जाने का ग़म मुझे जीने नहीं देता,
तेरी ख़ुशी देख सब्र करता है, ज़हर पीने नहीं देता।-
जब पाक हो मोहब्बत तो रुसवाई का डर कैसा
जो रूह में बसा हो उस से जुदाई का डर कैसा।-
तू नहीं है तो ना सही, तेरे ना होने पर भी तुझसे ही होगी
ये मोहब्बत है जान इस तरह दूर होने से तो ख़त्म ना होगी
ना होने पर भी जिसका एहसास हो वही मोहब्बत तो इबादत होगी-
ना जाने कितनी उलझनें हैं इस मन की जाने कौन
बाहर झूठी मुस्कान है अंदर के दुःख पहचाने कौन-
ये धड़कने क़ासिद हैं तेरी मोहब्बत के पैग़ाम सुनाती हैं,
है ख़बर तू किसी और का है फिर भी रूह में बसाती हैं।-
ज़िन्दगी का ये नया सफ़र मुबारक आमिर,
नूर सा खूबसूरत हमसफ़र मुबारक आमिर।
फूलों से हमेशा महकता रहे गुलशन तुम्हारा
आग़ाज़ निकाह से नौसफ़र मुबारक आमिर।-
आसमान मानद पड़ गया उसके दुपट्टे की अनवार में,
तेरा वजूद हमेशा महकता रहे उसके हुस्न-ए-बहार में।
तारें चमके, चांद रौशन हो, तेरे पहलू में वो जब आए,
नज़र उतर जाए बोसा देना, जहां तिल है रुखसार में।
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