Wow! My Holidays are coming.
I am full of excitement...
my eyes are spark brights as Fuljhadi
My heart are pop up like crackers
My mind emits colourful effects of anar dana.
And now I am completely explode like laxmi bom.-
मुझे कौन बार बार जगा रहा है
नींद में हूँ मैं
मेरे सपने में कौन भूत वाली मूवी लगा रहा है।-
कि उसके पास स्वप्न की दुनिया हैं,
पर उमसें कहीं उजाले की उम्मीद नहीं,
मगर
जब वह दिन ब दिन धीरे धीरे उजाले की ओर बढ़ी...
तब पूर्णिमा हुईं ..
तो उसमें उम्मीद जगी,
जब उम्मीद जगी..
तो वह रुकी नहीं .....
पर
जब अंधेरे साये आके उसे दबोच लिये,
तब उसकी साँसे कुछ देर रूकी रही,
फिर बैचेन सी रातें ...
धीरे धीरे खुदक़ो अमावस में बदलती रही।
ये चक्र चलता चला
रात को पूर्णिमा की उम्मीद लगी रही...
और वह अंधेरे साये में बैचेन होके
खुदक़ो अमावस में बदलती रही।
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I am just feeling positive energy with beautiful nature and nonstop music.
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तेरे ख्वाब जो मुझको आते है
हर रात मुझको सताते है
तू आयेगी कभी तो मुझसे मिलने
ये इंतजार बड़ा करवाते है।
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your new online friend text you hii....
and your face be like hello...-
जिदंगी कश लगा के कहती हैं-
इतनी भी क्या जल्दी है बुझ जाने की
हर साँस में धीरे धीरे सुलगेगा तू,
मौत तो हर किसी को आनी है
मजा तो तब है
जब कश लगाते लगाते
जीने का असली मतलब समझ लेगा तू ।-
किसी अनजान के साथ अनजान सफर पे निकली
किसी भ्रमित सा भटके भ्रमण पे निकली
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उन्होंने हाथ हमारा तब थामा
जब अजनबियों की बस्ती में
मैं उनकी जान पहचान सी निकली।-