फिल्टर काॅफी के जमाने में, चाय की चुस्कीयो सी हूँ
और कुछ हिस्सों में,मैं पूरी कहानी सी हूँ
मैं थोडी पुरानी सी हूँ।
इस कबीर सिंह के जमाने में ddLG जैसी हूँ
मैं शोर्ट के जमाने में हवा में लहराती साडी सी हूँ
हाँ मैं थोडी फिल्मी सी हूँ।
ऐअर फ्रेशर के जमाने में गीली मिट्टी की सुगंध सी हूँ
मैं लाॅग ड्राइव के जमाने में लाॅग वाॅक सी हूँ
मै कोर्ट मैरिज छोड़ सात फेरो सी हूँ
मैं कुछ सयानी सी हूँ।
ताजमहल जैसी निशानियों में, मैं निधि वन सी हूँ
मै अपने कृष्ण को ढूँढती राधा सी हूँ
अभी इंतजार में बैठी मीरा भी हूँ
मैं कुछ बावली सी हूँ।
इंगलिश आर्टिकल में,मैं हिन्दी कविता सी हूँ
कोई इरशाद कहे तो फरमाती उर्दू भी हूँ
हाँ मैं शेरो शायरी सी हूँ।
मैं हेडफोन के जमाने में पुरानी कैसेट सी हूँ
मै party night छोड़ poetry night सी हूँ
मैं ज्यादा नही बस थोड़ी पुरानी सी हूँ।
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