Saurabh Pandey   (सौरभ पाण्डेय)
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Joined 27 March 2020


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Joined 27 March 2020
4 JAN 2022 AT 10:52

" आज फिर से टूट गया "
एक अरसे पहले खुद से,
कुछ ना करने का किया था वादा!
उसे भी आज तोड़ दिया....

तारीख वही थी,
बस साल बदला था;
मोहब्बत वही था,
बस यार बदला था...

पर भूल गया था मैं,
कि, तकदीर वही थी;
बस हिसाब बदला था.....😢😢

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14 NOV 2021 AT 12:19

सिर्फ़, बातें ही क्यों याद आती हैं...
क्यों?ना जीते हर रोज बचपन,
क्यों? ये समझदारी बीच में आती है....
क्यों इतनी जल्दी बीत गया...
बचपन का वो दिन,
जब बेफिक्र दौड़ा करते थे...
ना था गिरने का डर,
गिर भी गए तो क्या हुआ...
फिर उठ झट उड़ने लगते थे,
क्यों? लदे समझदारी के बोझ के तले...
कहाँ से आया ये झूठा सा अपनापन,
क्या खूब था वो बचपन...
काश! कोई तो लौटा दे वो बचपन

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25 OCT 2021 AT 17:55

किसी से दूर हो जाने को..
और एक वजह ही काफी होती है...
किसी को हमसफर बनाने को...
उस एक वजह को(दूर हो जाने को)...
गर छोड़ दें हम...
तो वो एक वजह ही...वजह बन जाती है...
हर बिछड़े को वापिस मिलाने को...

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21 OCT 2021 AT 16:21

क्या यही इंसाफ है तेरा?.
मेरी गलती की सजा उसे देना..

और ये ..

वक़्त ने भी क्या खूब इंसाफ किया😢
मुझसे ना पूछ गैरों का कहा मान लिया....
😒😒😒😔😔😔

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18 OCT 2021 AT 19:36

तेरे सजदे में झुक के तुझे पा लेते है हम...

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8 OCT 2021 AT 19:56

दूरियाँ कितना भी करके देखा..
राज भी काम न आया..
बातें कितना भी कर के देखा....
मुक़ाम भी पा न पाया...
इंतज़ाम कितना भी करके देखा...

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2 OCT 2021 AT 18:45

कहाँ कहाँ न किये हम!
अपनी उल्फ़त-ए-बयाँ...
पर कम्बखत ये दिल भी,
पता हर बार गलत ढूँढा।

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30 SEP 2021 AT 15:19

क्या गुनाह था मेरा
कमज़र्फ तो वो थी....
तो बेवफा हम क्यों हुए..
ए जिंदगी तू ही बता....
इतनी मासूम क्यों है...
तेरी चाहत का कदर,क्यों न है...
तू उसका होकर भी..
उसका क्यों न है...
आवारगी तू ही बता...
इस दर्द का मरहम क्यों न है

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28 SEP 2021 AT 20:44

पलके झुका लेना
है अदब ये भी जता देना
हा थोड़ी नाराजगी है
लेकिन उसका भी हल है
मिला के निगाहें
हल्का सा मुस्कुरा देना😊

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27 SEP 2021 AT 21:57

सैलाब लिए फिरती है...
किसी को पाने की चाह...
तो किसी को खोने का...
आग लिए फिरती है...


खुद में खुद को खोकर...
दूसरों के लिए......
उन्माद लिए फिरती है....

जिंदगी की धुन
साँसों पर चलती है....
उम्र ढल जाती है...
पर कब ये ढलती है...

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