पिता उंगली पकड़े बच्चे का सहारा है,
बच्चे को जिताने के लिए हर बार उससे हारा है ।
पिता इस नन्हे बच्चे का पूरा आसमान है,
पिता है तो बच्चे का सारी खिलौनों की दुकान है ।
पिता अपनी जरूरतों को छोड़कर,
बच्चे की ख्वाहिश पूरी करता है ।
पिता खुद गर्मी मे तपकर,
परिवार को ठंडी छांव मे रखता है ।
पिता का सर पे हाथ ही सफलता का आधार है,
पिता नही है तो फिर पूरा बचपन निराधार है ।
अगर जीवन मे पिता से बड़ा अपना नाम करो,
तब भी उनका अपमान नही, हमेशा सम्मान करो ।
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