सच नही कि मुझे याद तेरी आती नही
की फ़ोन बुक पर नज़र मेरी जाती नही
"मैं बिज़ी हूँ" ये सुनना मैं चाहता नही
इसलिए फ़ोन तुझको मैं लगाता नही
😔
#Haina-
फैले प्रेम परस्पर जग में,
मोह दूर ही रहा करे।
अप्रिय-कटुक-कठोर शब्द नहिं,
कोई मुख से कहा करे॥
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कष्ट अन्य के देखता , पर अपनी सुध नाहीं
तरु पर बैठा नर कहें , हिरण जले वन माहीं-
जिन पुण्य पाप नहीं कीना
आतम अनुभव चित दीना
तिन ही विधि आवत रोके
संवर लहि सुख अवलोके-
यदि कोई जिनपूजा को परमार्थ से धर्म ही मानले तो वह उसकी भूल है और यदि कोई जिनपूजा का निषेध करे तो वह भी भूल है। जिन प्रतिमा जैन धर्म में अनादि की वस्तु है, परन्तु वह जिन प्रतिमा वीतराग हो
- जिन प्रतिमा जिनसारखी
किसी ने उस जिन प्रतिमा पर चंदन पुष्प - आभरण - मुकुट - वस्त्र आदि चढ़ाकर उसका स्वरूप विकृत कर दिया हो और किसी ने जिनप्रतिमा के दर्शन-पूजन में पाप बतलाकर उसका निषेध किया हो
- यह दोनों की भूल है-
तुझे भूल जाने की.....
पर दुनिया में कब हो पाया हैं कि
कोई खुद को भूल जाये...😢
I + You = We-
स्वाध्याय का फल ध्यान हैं।
ध्यान में ही साक्षात् सुख का वेदन होता हैं , कर्मो की निर्जरा होती हैं। अतः बाहर से उपयोग को समेटते हुए आत्म ध्यान का अभ्यास अवश्य करें
आत्मन्-
कल फिर गलती करोगे तो मांफी मांगने से क्या फायदा ?
जिस प्रकार वस्त्र के पुनः मलिन हो जाने के भय से उसे धोना बन्द नहीं करते उसी प्रकार उसी प्रकार पुनः कषाय उत्पन्न होने के भय से क्षमा मांगना और करना बन्द ना करें। *
*कल फिर गंदा हो जायेगा इसलिये वस्त्र को धोने से क्या फायदा ? ऐसा प्रश्न कभी उत्पन्न नहीं हुआ और स्वच्छता का आनन्द लिया उसी प्रकार क्षमा मांगने/करने रूप निर्मलता का आज आनन्द लीजिये कल यदि कपाय उत्पन्न हुयी तो पुनः क्षमा की शरण में आयेंगे।-
परिपूर्ण हूँ - इसका वेदन करो
परिपूर्ण हूँ - मात्र विचार मत करो
आदरणीय ब्रम्हचारी
श्री सुमतप्रकाश जी-