तुम्हारी बातें,तुम्हारी यादें वो तेरा मुस्कुराना...
डर बहुत लगता है...
एक दिन ये हो जाएगा बिता जमाना..
फिर मिलोगी बस ख्वाबों में तुम...
खत्म हो जाएगा ये साथ का हसना गाना...
कभी कभी दिले मंदिर में तेरी तस्वीर से बात होती है..
ज़ब भी रात होती है,तेरे ख्वाबों से मुलाक़ात होती है..
बस वही तेरी फ़िक्र,तेरी तारीफ,तेरा हीं ताना बाना..
हम होते हैं घर में और मन तेरी चाहतों के हवालात में होती है...💞
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• अजीम-ए-दिल हैं, सर पे सदा उनका हाथ रहता है..
जाने अनजाने में भी खुदा हमारे साथ रहता है...🙌-
नजर लगे ना कहीं उन के दस्त-ओ-बाजू को...
ये लोग क्यूँ मेरे जख्म-ए-जिगर को देखते हैं...
वो आए घर हमारे खुदा की कुदरत है...
कभी हम उनको,कभी अपने घर को देखते हैं...!!
(दस्त -ओ-बाजू =हाथो और बांहों को )-
कैसे बतायें हम तुम्हे कितना देखते हैं...
थोड़ी देर तुम्हे देखते है,फिर डर के लोगों को देखते हैं..-
प्यार की, एहसास की, किस्मतों के अहोभाग्य की..
एक एक धागा मन्नत है मेरे अखंड सौभाग्य की..!
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नातर्ष, नाकद्र, नाकाबिलों की
जुस्तजू बहुत हो गई...
कुछ भी हो तो धरातल पे हो
ख्वाबों की खेती बहुत हो गई...!-
हमारे पास अब कुछ ऐसा नहीं
जो तुझे रास आऊँ ...
ऐ जिंदगी !!
कुछ ऐसा कर जो तूँ मुझे रास आए...
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गँवार के लिए सवाल जरुरी है..
अना वालों को जवाल जरुरी है...
आसान नहीं है शायरों का सफर
यहाँ दिल में मलाल जरुरी है...!!-
मेरी आँखों को ज़ब उनका दीदार हो जाता है...
दिन कोई भी हो,त्यौहार हो जाता है...!!-