हर बार तेरी मर्जी में ढल जाऊं
ये मुमकिन हैं क्या......?
मेरा भी वजूद है, मैं कोई आइना तो नहीं-
ख्वाहिशें तो मेरी छोटी छोटी थी ,
पूरी न हुई तो बड़ी लगने लगीं..😒-
कुछ था, जो छूकर निकल गया!
महसूस हुआ पर दिख ना सका!
जानती हूं मैं, आहटे भी बसती हैं,
हमारी ही बस्ती में!
या मैं बसी हूं...?
उन उन आहटो की बस्ती मे?-
हमारी सोच कागज पर कभी असली नहीं उतरी
हम अपने ख्वाब की तस्वीर भी नकली बना लिए-
Oye ek baat bolun
Tere hothon per muskan dekhkar mere chehre per badi si smile aa jaati Hai
Tu sirf dost nahi jine ki wajah v h meri....🥰
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एक दिन जब उम्र ने तलाशी ली,
तो जेब से लम्हे बरामद हुए..
कुछ ग़म के थे,
कुछ नम से थे कुछ टूटे हुए थे,
बस कुछ ही सही सलामत मिले.
जो बचपन के थे!!-
इतना क्यों हमे सिखाए जा रही है
ऐ ज़िन्दगी.........
कोन सा हमें यहां सदियां गुजारना हैं-
मेरी महफिलों की शुरुआत तेरे चर्चे से हो गई
तू हो जवाब जिसका मैं वो हर सवाल हो गई-
एक लड़के कि दुःख भरी कहानी.....
आज कल के लोगो को Facebook
nd Instagram कम पड़ जाते हैं, जो
Games मैं जाकर लड़कियों को Hiii,
Hello बोलने लग जाते हैं............🤷-
सब कुछ कह कर भी
बात अधूरी रह जाती है
तेरे साथ रह कर वक़्त
का पता नहीं चलता,
ऐसा लगता है,
कुछ बात रह गई। !!-