Ratan Kumar Shrivastava  
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मेरे अंतर्मन से ,
निकली बातें जो छन के ।
कुछ बातें उन अपनों की ,
कुछ उनके अपनेपन के ।।
Joined 10 February 2018


मेरे अंतर्मन से ,
निकली बातें जो छन के ।
कुछ बातें उन अपनों की ,
कुछ उनके अपनेपन के ।।
Joined 10 February 2018
YESTERDAY AT 10:51

होनी तो हो के रहती है
होनी तो होती रहती है।
राम नाम है अति सुखदाई
अनहोनी को रोके रहती है।
जा पर किरपा रही राम की
किस्मत उसकी हंसते रहती है।।

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26 APR AT 23:47

सीधा रास्ता छोड़ के,
बाएं दाएं भागोगे तो,
वहीं पहुचोगे,
जहां से तुम चले थे।।
राह पकड़ के एक चलाचल,
राह पकड़ के नेक चलाचल।
मिलेगा अमृत या हलाहल,
राह पकड़ के एक चलाचल,
राह पकड़ के नेक चलाचल।।

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26 APR AT 23:31

सीधा रास्ता छोड़ के,
बाएं दाएं भागोगे तो,
वहीं पहुचोगे,
जहां से तुम चले थे।।

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25 MAR AT 10:00

प्रहलाद को भी चिता पर चलके ही मिली होली,
आसुरी होलिका जब जलकर आग की हो ली।
कामदेव भस्म हुए जब शिव ने तीसरी आंख खोली,
पर शंकर कृपा से रति फिर से कामदेव की हो ली।
तभी से मनती आई हर वर्ष उमंग के रंग में होली,
आपको भी भरपूर मिले मीठी पुआ भांग की गोली।
।। हैप्पी होली ♥️♥️ हैप्पी होली ।।

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नया साल नई नई सोंच बनाए
आपकी हौसलों को मंजिल मिल जाए।
ख्वाब जो आंखों में सिमटे हैं आपके
नये वर्ष में सभी वो हकीकत बन जाएं।
नव वर्ष 2024 की हार्दिक शुभकामनाएं।।

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12 NOV 2023 AT 22:05

** मैं हूँ राही मतवाला **
( एक दीपक की आत्मकथा )
अपने इस सूनेपन का, मैं हूँ राही मतवाला ।
अपने प्राण का दीप जलाकर, देता रहूँगा तुम्हें उजाला ।।
आलोकित हो राह तुम्हारी, ऐसी मेरी अभिलाषा ।
ज्योतिर्मय हों तेरी राहें, है यही दीये की प्रत्याशा ।।
हों चाँदनी से भी तेज धवल, तेरी राहें उज्जवल उज्जवल ।
सदगमय हों तेरी राहें, लौ कहे दीये की मचल मचल ।।
ज्योति पुँज की बुझती लौ तक, मैं करूँ तुम्हारी राह सरल ।
अमृतमगमय हों तेरी राहें, लौ प्राण - दीप की कहे अटल ।।
दीप तले जस बढ़े अंधेरा, लौ प्रज्वल होता जाएगा ।
जितना तुम आलोकित होगे, मेरा तम बढ़ता जाएगा ।।
पर तुम्हें प्रकाशित करने को, बनी रहेगी लौ ज्वाला ।
अपने प्राण का दीप जलाकर, देता रहूँगा सदा उजाला ।। 
तुम्हें विलोकित करने में, मैंने सर्वस्व जला डाला ।
पर तुम निर्मोही मत बनना, बुझ जाएगा जलनेवाला ।।
बुझ जाएगा जलनेवाला । रुक जाएगा चलनेवाला ।
अपने इस सूनेपन का ,मैं हूँ राही मतवाला ।।
अपने प्राण का दीप जलाकर ,
देता रहूँगा सदा उजाला ।।

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12 NOV 2023 AT 11:37

ॐ श्रीं ह्रीं श्रीं कमले कमलालये प्रसीद 
प्रसीद श्रीं ह्रीं श्रीं ॐ महालक्ष्मयै नम:॥

आपको और आपके पूरे परिवार को 
दीपावली की ढेर सारी शुभकामनायें।
माता लक्ष्मी आप पर खुशियां बरसाएं
आप सुखी प्रसन्न और जगमग हो जाएं।।

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12 NOV 2023 AT 0:21

न जानामि दानं न च ध्यान-योगं, 
न जानामि तन्त्रं न च स्तोत्र-मन्त्रम्।
न जानामि पूजां न च न्यासयोगम्, 
गतिस्त्वं गतिस्त्वं त्वमेका भवानि।।
माता लक्ष्मी आप हमें ज्योति प्रदान करें।
दूर हमसे सारे अंधियारे प्रस्थान करें।
दूर हमसे सारे हमारे अज्ञान करें ।
आप हमें सुख शान्ति हीरा मोती वरदान करें।।
🙏🙏

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24 OCT 2023 AT 22:57

न जानामि दानं न च ध्यान-योगं, 
न जानामि तन्त्रं न च स्तोत्र-मन्त्रम्।
न जानामि पूजां न च न्यासयोगम्, 
गतिस्त्वं गतिस्त्वं त्वमेका भवानि।।
🙏🙏
माता जगदम्बा आपको सदगति वरदान करें।🏵️

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12 AUG 2023 AT 8:28

हित चाहने वाला पराया भी अपना है,
अहित चाहने वाला अपना भी पराया है ।
रोग अपनी देह में पैदा होकर भी हानि पहुंचाता है,
औषधि वन में पैदा होकर भी हमारा लाभ ही करती है।

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