Planted myself again,
Let'see if I get rooted this time..-
हिंदी - 😇 ज़िन्दगी ⏩ Illogical
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रोती हूँ फिर संभल जाती हूँ,
हँसती हूँ फिर संभल जाती हूँ ।
गिरती हूँ फिर संभल जाती हूँ,
खिलती हूँ फिर संभल जाती हूँ।
ज़िन्दगी एक बवंडर है,
ये भूल कर भी ना भूल पाती हूँ ।।-
जाने किधर जा रही है ज़िंदगी,
आगे बेखबर जा, या पीछे भगा रही है जिंदगी।
कुछ दसियों साल निकल गए सँवारने में,
बूढ़ी माँ को औलाद जैसे ठुकरा रही है ज़िन्दगी।
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इस गर्म मौसम में कुछ सर्द रातें इस कदर आती हैं,
दिल सुन्न सा रह जाता है और रूह सिकुड़ जाती है।-
कहीं चेहरे पर उम्र की तस्वीरें ना मढ़ जाएँ,
इन हौंसलों पर वक़्त की लकीरें ना पड़ जाएँ,
जाना है बहुत दूर,अभी रास्ता भी ना है करीब,
इस जलते लहु पर सुकूँ की ज़ंजीरें ना पड़ जाएँ।-
क्या कहें, ज़िन्दगी में दोस्तों की क्यों कमी है,
लगता है मुखौटे में सच्चे जज़्बातों की नमी है।।-
जाने किस तरह लोग यूँही छवियाँ बना लेते हैं,
दो पल की गुफ़्तगू में मानो सदियाँ समा लेते हैं।
हम नासमझ तराज़ू बिन कुछ तोल नहीं पाते,
कैसे लोग एक नज़र इंसान का मोल लगा लेते हैं।।-