5 MAY 2020 AT 21:43

तुम बार बार याद आते हो
हर आहट पर निगाह उठती है
लेकिन कहीं नजर नहीं आते हो
दिल बेकरार रहता हर पल
एक नजर देखने को तुम्हें
भीड़ में अक्सर खोजता हूँ
कहीं तुम मिल जाओ मुझे
कई बार भ्रमित हो जाता हूँ
जैसे पीछे से पुकारा हो तुमने
मन के दर्पण में हो तुम अब भी
इंतजार है तुम हमसे मिलोगे कभी


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