अगर कोई,
तुमसे दूर जाना चाहे
तो तुम उसे जाने देना
और कर देना उन्हें सारे बंधनों से 'मुक्त' |
इन मतलबी दुनिया में
जब वे ठोखरे खाते हुए
दुनिया को पढ़ना सीख लेंगे |
तब वो भटकते हुए
तुम्हारी तलाश लिये
स्वयं वापस आयेंगे |
और अगर कभी मिलना हुआ उनसे
तो पूछ लेना तुम ये सवाल
'बंधनों' को तोड़ कर जाने वाले लोग
अक्सर क्यों याद आया करते है ?-
कोई आया है...
सपनो की दुनिया से
अपने पखं फैलाये हुए
एक नई ऊर्जा के संग
मुझे अपने संग ले जाने की चाह लिए हुए |
उनका आना मुझे आकर्षित कर रहा
मोगरे के फूल की तरह..
अंततः मेरा ये समर्पण सफल हुआ
क्योंकि मैं चुनी गई हूँ
सभी विकल्पों मे भी एक ||-
एक शांत व्यक्ति लोगों से
प्रेम,सद्भाव और मानवता की बातें करता है |
जबकि अशांत व्यक्ति अहिंसा मे भी
जाति ,धर्म और घृणा जैसी कई कारणो को खोजता है |-
किसी चीज को चाहना
एक अच्छी आदत हो सकती है
बशर्ते कि आपकी चाह निस्वार्थ हो
वही चाहना
एक बुरी आदत भी बन जाती है
जब आप किसी पर आश्रित हो जाते हो|-
कुछ लोग
अपने होकर भी
अपने नही होते
ऐसे लोगों से हमेशा बचकर ही रहना चाहिए
नही तो ये
खुद तो आबाद होगे
पर ये आपको बर्बाद कर देंगे |-
मन तो होता
अपनी संपूर्ण
अभिलाषाओं का
चित्रण कर दू
तुमसे
हू-बहू
ज्यों का त्यों
जिनसे मैं गुजर रहा
श्रृंग-गर्त के भाती|
पर अफ़सोस की
तुम मेरे साथ नही ||-
'ग्रहण' लगना मात्र एक भौतिक क्रिया है
इसका मनुष्य से कोई लेना देना नही |-
इश्क़ के शहर मे
अनजान शख्सियतों से मिल
हो गये,कही हम गुम
खोजता है दिल मेरा
न जाने, इन उमर-घुमर गलियों मे
कहाँ हो गये तुम गुम-