Radhya   (AR)
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Joined 6 May 2017


Joined 6 May 2017
29 MAY AT 23:18

First impression should not be the final impression. We may lose to see the best version of the person, because everyone on earth is evolving to a new level every moment.

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30 MAY 2024 AT 21:39

Please reduce global warming at your level-

1- Minimize use of Air Conditioner; if needed open for 15-30 minutes, close the room to get it chilled then switch it OFF.
2- Use public or shared transport as much as possible.
3- Save electricity and switch OFF electric appliances when not in use.
4- Save water; use water purifier's waste water wherever possible.
5- Avoid drinking soft drinks and drink normal water to stay hydrated.
6- Take care of plants nearby you.

Take action before it’s too late and remember Little drops of water makes a mighty ocean!!!

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25 JUN 2023 AT 13:19

आदिपुरुष के प्रति चल रहे विरोध में हम सब अपनी टिप्पणी दे देकर भगवान के प्रति जनता के भाव के सम्मान की रक्षा करने का प्रयत्न कर रहे हैं, ठीक बात है। पर मैं यहीं पर कुछ और भी ऐसे बॉलीवुड में प्रयोग किये गए गाने अथवा भाषाओं के विषय में प्रकाश डालना चाहूंगा।
Radha on the dance floor गाना सबने सुना भी और सब इस पर खूब नाचे भी, मात्र ऐसा गाना सुनना ही क्या आपको अभद्र नहीं लगा, उसका विरोध क्यों नहीं हुआ?
रास लीला को character ढीला कहा गया एक और गाने में उस पर भी किसी को क्रोध नहीं आया, उसका विरोध नहीं हुआ! क्यों?
इसके अलावा जब कहीं 1 लड़का कुछ लड़कियों के साथ खड़ा हो तो लोग आराम से कह देते हैं कि कन्हैया बन रहा है या रासलीला कर रहा है। क्यों?
कभी सोचिये कि आपका श्री कृष्ण के प्रति कैसा भाव है? श्री कृष्ण ने गोवर्धन उठाया, काली नाग के फन पर नृत्य किया, अनेक दुराचरियो से संसार की रक्षा की। और रासलीला तो ऐसी लीला है जिसे सिर्फ कोई शुद्ध भक्त ही समझ सकता है, अब आप सोचिये आप आम भाषा में ऐसे लोगों को श्री कृष्ण कह कर भगवान के प्रति भक्तो के भाव को ठेस नहीं पहुंचाते?
बात सिर्फ इतनी है कि हमें आदत हो गयी भीड़ में चलने कि जो सुन लिया वो सत्य माना और चलते गए भीड़ में, कभी तथ्य जानने का प्रयत्न तो किया ही नहीं।
इसलिए आप अपनी भाषा कैसे चुनते हैं ज़रा सोचियेगा।
जय श्री राम।

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5 MAY 2023 AT 15:20

अगर कोई नाराज़ हो तो उसे मना लो
उसकी नाराज़गी को गलत न समझो
नाराज़गी का हक़ आखिर अपनों को ही है
वो अपना मानता है तभी तो नाराज़ है
गैरों को कमज़ोरी न बनाओ
अपनों को ताकत बनाओ
गैरों को क्या पता कि वो तुम्हारी कमज़ोरी हैं
गैरों पे ज़िन्दगी यूँ न गवाओ

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4 OCT 2020 AT 21:22

मैं जितना भी तुम्हें पुकारूँ,
मेरा हर पैगाम फ़ीका सा लगता है,
मैं जितना भी तुम्हें ध्याऊँ,
मेरा ध्यान अधूरा सा लगता है,
तुम हो अनन्त से अनन्त तक,
एक तू ही जग का आधार लगता है,
पर तुम तक पहुंचने का हर मार्ग ,
मेरा हर प्रयास अपूर्ण सा लगता है,
तुम सर्वस्व, सर्वत्र, सर्वेश्वर हरि,
क्या तुम्हें भी यह दुष्कर लगता है,
तुम्हारा मुझ तक न पहुंचने का,
हर बहाना अब झूठा सा लगता है,
प्यारे, तुमसे क्या छिपा है बताओ,
सांसो को ज़रूरी तेरा सहारा लगता है,
तुम्हीं मेरे जीवन का आधार कान्हा,
तुम्हारी कृपा का ही अब आसरा लगता है।

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26 APR 2021 AT 21:13

Having Optimistic Perspective Everywhere

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26 APR 2021 AT 16:27

आओ हम सब एकत्र हों,
नाम प्रभु का जपते रहो,
भाव मन में यह धारण हो,
आओ हम भाव से एकत्र हों।
एक एक नाम के जप से,
जग का एक एक पाप नष्ट हो,
आओ हम मन से एकत्र हों।
सारा वातावरण स्वछ हो,
और सभी जन स्वस्थ हों,
आओ हम इच्छा से एकत्र हों।
हाथ में भले माला न हो,
श्वास श्वांस पर सिमरन हो,
आओ हम शक्ति से एकत्र हों।
फिर उस शक्ति का वितरण हो,
और जगत परम् पवित्र हो,
आओ हम प्रार्थना से एकत्र हों।

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25 APR 2021 AT 22:55

जब लेन देन का बदला नहीं दुनिया ने रिवाज़,
देता है धन वस्तु के बदले में यह समाज,
फिर क्यों भुला दिया उसूल यह प्रकृति के लिए,
क्यों असंख्य वृक्ष काट कष्ट प्रकृति को दिए,
दिया हमें उसने निर्मल नीर, गगन और पवन,
बदले में नष्ट किये न जाने हमनें कितने वन,
भुला दिया दान उसका और प्रेम अत्यंत शुद्ध,
इसी कारण हुई है वह जन मानव से क्रुद्ध,
समय अभी भी है करें हम प्रकृति का रक्षण,
स्वयं वह करेगी हर क्षण फिर हमारा रक्षण।

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25 APR 2021 AT 21:04

हालात हों मुश्किल किन्तु आगे और बढ़ते चलो,
श्वांस जो साथ है हरि नाम संकीर्तन करते चलो,
दिल में प्रेम रखो सबके लिए, सबको दुआ देते चलो।

क्या पता भेजी दुआ के बल से ज़िन्दगी के काँटे,
फूल बन सबको एक नई उम्मीद और जिंदगी दें,
किसी की दुआ के फल से श्वासें और लम्बी चलें।

एक लौ बन कर यह दुआ सर्वत्र पर प्रसादी रहे,
कण कण में सकारात्मक ऊर्जा बन सदा समाई रहे,
दूर हों अंधेरे जगत के सभी होठों पर हंसी छाई रहे।

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24 APR 2021 AT 0:21

किसी के एहसासों का भाव लिखा है,
कहीं कोई कहानी कहीं दाँव लिखा है,
तो किसी पर सत्य बेहिसाब लिखा है,
किताब के हर पन्ने पर ख्वाब लिखा है।

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